राजधानी के अलीगंज के लोक सेवा आयोग (pradeep murder case) निवासी प्रदीप वाल्मिकी की हत्या किसी और ने नहीं उसी के सौते भाई लल्ला वाल्मिकी ने अपाने साले उमेश व आशीष के साथ मिलकर की थी। पुलिस ने शनिवार को इस घटना का राजफाश कर हत्यारोपी लोक सेवा आयोग निवासी लल्ला व उसके साले विभूतिखंड क्षेत्र के झोपड़ पट्टी स्थित पानी की टंकी निवासी आशीष वाल्मिकी एवं उमेश वाल्मिकी को गिरफ्तार कर किया है।
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शौचालय के पास मिली थी लाश
- बता दें कि 31 अक्तूबर 2016 को अलीगंज के नवीन गल्लामंडी स्थित शौचालय के पास अलीगंज के लोक सेवा आयोग कालोनी निवासी प्रदीप वाल्मिकी की लाश मिली थी।
- एसएसपी दीपक कुमार ने बताया कि उस समय ऐसा लाग कि प्रदीप की मौत अधिक शराब पीने से हुई।
- लेकिन दूसरे दिन पोस्टमार्टम रिपोर्ट में सामने आया कि प्रदीप की मौत स्वभाविक नहीं उसकी गला दबाकर हत्या की गई थी।
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- उन्होंने बताया कि तत्कालीन एसओ इस मर्डर केस का खुलासा करने के लिए अपनी पूरी ताकत झोंक दी थी, लेकिन घटना नहीं खुल सकी थी।
- एसएसपी का दावा है कि अनसुलझी घटनाओं का राजफाश करने के लिए अलीगंज की कमान दरोगा जय शंकर सिंह को सौंपी।
- इस मामले का जल्द खुलासा करने के लिए एसएसपी ने एएसपी ट्रांसगोमती हरेन्द्र कुमार को निर्देश दिया।
- इस पर एएसपी टीजी हरकत में आये और एसओ अलीगंज जय शंकर सिंह को निर्देश देकर आगाह किया।
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- अपने अधिकारी का फरमान (pradeep murder case) मिलते ही जय शंकर सिंह घटना का खुलासा करने में जुट गये।
- एसओ अलीगंज का कहना है कि जांच पड़ताल कर ही रहे थे कि मुखबिर द्वारा सूचना मिली कि प्रदीप का कत्ल किसी करीब ने ही किया है।
- इस सूचना पर पुलिस ने संदेह के आधार पर मृतक के सौतेले भाई लल्ला को हिरासत में लेकर कड़ाई से पूछताछ की तो घटना की परतें खुलती गई और पुलिस के सामने वह टूट गया।
- पुलिस के मुताबिक पूछताछ में हत्यारोपी लल्ला ने बताया कि उसके पिता मुन्नालाल लोक सेवा आयोग पुरनिया में बतौर सफाईकर्मी थे।
- बताया गया कि मुन्नालाल की मौत के बाद पिता की जगह नौकरी का दावा करने लगा, क्योंकि वह मुन्नालाल की पहली पत्नी खातूना बेटा था।
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भाई को नौकरी दिलाना चाहता मृतक
- एसओ के मुताबिक प्रदीप अपने भाई अमित को नौकरी दिलाना चाहता था।
- जिसे लेकर मृतक प्रदीप और लल्ला के बीच दरार पैदा हुई और कई बार दोनों के बीच मारपीट भी हुई थी।
- बताया गया कि इसी दौरान लल्ला अपने साले के साथ मिलकर ने सौतेले भाई प्रदीप को हमेशा के लिए रास्ते से हटाने के लिए योजना बना डाला।
- प्रदीप से नजदीकियां बढ़ाकर लल्ला ने 31 अक्तूबर 2016 को शराब पीलाने के बाद मार डाला और थाने पहुंच कर पुलिस से बताया कि प्रदीप की हत्या नहीं उसकी स्वभाविक मौत हुई है।
- फिलहाल पुलिस को गुमराह करता रहा, लेकिन उसकी चालाकी ने सलाखों के पीछे भेज दिया।
- इस गुडवर्क पर खुश होकर (pradeep murder case) एसएसपी दीपक कुमार ने पुलिस टीम की प्रशंसा की।
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