कर्नाटक कैडर के आईएएस अनुराग तिवारी (ias anurag tiwari) की मौत के मामले में नया मोड़ आ गया है। इस खुलासे के बाद पुलिस अधिकारियों के भी कान खड़े हो गए हैं।
- सूत्रों के मुताबिक पुलिसिया लापरवाही की पोल खुलती देख एक बड़े अफसर के इशारे पर अब पुलिस ने सूचनाकर्ता को ही अंडरग्राउंड कर दिया है।
- बता दें कि आईएएस अधिकारी अनुराग तिवारी (ias anurag tiwari) की मौत में एसआईटी के इंचार्ज सीओ हजरतगंज अवनीश मिश्रा की एक और बड़ी लापरवाही उजागर हुई है।
- इससे पहले सीओ पर गायत्री प्रजापति को जमानत दिलाने में भी सवाल उठे थे।
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फर्स्ट कॉल टाइमिंग में खेल कर रही पुलिस
- सूत्रों का कहना है कि अब फर्स्ट कॉल टाइमिंग में पुलिस अपनी लापरवाही को छिपाने में जुटी हुई है।
- बता दें कि डॉयल 100 को 17 मई 2017 को सुबह 5:23 बजे ही राहगीर ने सूचना दी थी।
- इसमें सूचनाकर्ता ने फोन करके अज्ञात व्यक्ति का शव सड़क पर पड़ा होने की बात कही थी।
- इसके बाद सुबह 5:36 बजे मीरा बाई गेस्ट हाउस के पास अज्ञात शव मिलने का मैसेज वायरलेस पर प्रसारित किया गया।
- शव मिलने के दौरान पुलिस का दावा था कि सूचना किसी दूधिये ने दी थी।
- अब यह दूधिया कहां गया इसका किसी के पास कोई जवाब नहीं।
- वहीं डॉयल 100 की कॉल डिटेल में हुआ नया खुलासा हुआ कि सूचनाकर्ता नाईट शिफ्ट करके अपने घर जा रहा था।
- इससे अब मामले में नया मोड़ आ गया है।
- बताया जा रहा है कि लखनऊ पुलिस मामले को नजरअंदाज कर 6:10 बजे सूचना मिलने का ढोंग कर रही है।
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कर्मचारियों ने जीवित देखने से किया इंकार
- पुलिस की पूछताछ में गेस्टहाउस के कर्मचारियों ने उन्हें (ias anurag tiwari) गेस्टहाउस में जिंदा देखने से इंकार किया है।
- पूछताछ के दौरान पुलिस ने बताया कि मंगलवार रात 10:00 बजे से बुधवार सुबह 6:00 बजे तक मीराबाई मार्ग स्थित स्टेट गेस्ट हाउस के कनिष्ठ सहायक जितेंद्र वर्मा और चतुर्थ श्रेणी कर्मचारी कृष्णा चतुर्वेदी ड्यूटी पर थे।
- जितेंद्र ने बताया कि वह मंगलवार रात 10:10 बजे राज्य गेस्ट हाउस ड्यूटी करने पहुंचा और बुधवार 7:00 बजे वहां से निकला।
- ड्यूटी पर आने के बाद उसने एलडीए वीसी पीएन सिंह और आईएएस अनुराग तिवारी (ias anurag tiwari) को गेस्ट हाउस आते नहीं देखा।
- सुबह 6:45 बजे एलडीए वीसी नीचे आए और कमरे की चाभियां देकर बैडमिंटन खेलने चले गए।
- इससे पहले सुबह 5:00 बजे एसपी सिंह बघेल गेस्ट हाउस से मॉर्निंग वॉक पर निकले थे और 6:45 बजे लौटे।
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- यानी अनुराग तिवारी सुबह 5:00 बजे से पहले ही गेस्ट हाउस से निकल चुके थे।
- दोनों कर्मचारियों के बयान ने पूरे मामले को और भी रहस्यमय बना दिया है।
- जितेंद्र के बयान के दो मायने निकाले जा रहे हैं।
- पहला यह कि उसने ड्यूटी पर आने से पहले ही दोनों गेस्ट हाउस आ चुके थे और देर रात सुबह 5:00 बजे के बीच किस वक्त IAS अधिकारी अनुराग तिवारी गेस्ट हाउस से निकले जिसका कर्मचारियों को पता नहीं चला।
- दूसरी आशंका यह भी है कि आईएएस अधिकारी रात को गेस्ट हाउस आए ही नहीं।
- हालांकि उनका मोबाइल फोन गेस्ट हॉउस के कमरे में ही चार्जिंग पर लगा होने से पुलिस इस आशंका से सहमत नहीं है।
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- पुलिस ने जितेंद्र के साथ नाइट ड्यूटी पर उपस्थित कृष्णा चतुर्वेदी और बुधवार सुबह 7:00 बजे से ड्यूटी पर आए वरिष्ठ स्वागती आरिफ हुसैन व चतुर्थ श्रेणी कर्मचारी राजनारायण से भी पूछताछ की।
- एसआईटी के प्रभारी सीओ हजरतगंज अवनीश कुमार मिश्रा ने बताया कि मंगलवार रात एलडीए वीसी और आईएएस अनुराग तिवारी (ias anurag tiwari) जिस राजभवन के सामने आर्यन रेस्टोरेंट में डिनर करने गए थे।
- वहां के सीसीटीवी निकलवा कर छानबीन कर की जा रही है।
- रात करीब 8:30 बजे से 10:00 बजे तक अधिकारी रेस्टोरेंट में मौजूद रहे?
- इस दौरान आईएएस अफसर (ias anurag tiwari) ने कैसे कपड़े पहने थे?
- उनके पास (ias anurag tiwari) कितने मोबाईल फोन थे इसका ब्यौरा जुटाया जा रहा है।
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पुलिस के पास नहीं हैं पुख्ता सबूत
- आईएएस अधिकारी की मौत के मामले में पुलिस ने जल्दबाजी कर दी।
- इसके चक्कर में घटना स्थल से कई अहम सबूत मिट गए।
- पुलिस के पास घटना स्थल का कोई वीडियो और फोटो नहीं है जिसमें आईएएस मूल स्थिति में हो।
- पुलिस अब मीडियाकर्मियों से संपर्क कर तस्वीरें तलाश रही है।
- बताया जा रहा कि पुलिस के पास केवल एक ही फोटो है इसमें वह पीठ के बल सड़क पर पड़े हैं।
- जबकि प्रत्यक्षदर्शियों के मुताबिक वह (ias anurag tiwari) सड़क पर औंधे मुंह पड़े थे।
- उनका शव किस स्थिति में था?
- चेहरा हाथ-पैर किस दिशा और दशा में थे?
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- चप्पल या जूते पहने थे अगर चप्पल पहने थे तो शव से कितनी दूर थी?
- बताया जा रहा है कि आईएएस (ias anurag tiwari) का शव औंधे मुंह पड़ा था।
- सिर का आधा हिस्सा बाएं हाथ पर था।
- मौके पर सबसे पहले गए सिपाहियों की मानें तो आईएएस (ias anurag tiwari) का बायां हाथ उनके सिर के आगे तक सीधी अवस्था में था।
- सिर कंधे से कोहनी के बीच टिका हुआ था।
- कनपटी कंधे पर थी नाक और मुंह सड़क को छू रहे थे।
- वैसे यह स्थिति बेड पर पेट के बल लेटने के दौरान होती है।
- आईएएस की मौत गिरने से नहीं बल्कि उनकी हत्या कर शव फेंका गया है।
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