योगी सरकार (yogi government budget) ने 11 जुलाई को अपना पहला बजट पेश किया. 3 लाख 84 हजार करोड़ के बजट के जरिये योगी सरकार ने सूबे के सर्वांगीण विकास की बात कही है. इस बजट को किसानों का बजट कहा जा रहा है. इसकी खास वजह ये है कि 36000 करोड़ का किसानों का कर्ज माफ किया गया. इसके अलावा फसल बीमा, सिंचाई आदि के लिए भी बजट में जगह दी गई है.
इस बजट के आने से पूर्व ही योगी सरकार ने पिछली सरकार की कुछ योजनाओं को बंद करने की घोषणा भी की थी. इसपर अंतिम मुहर बजट के दौरान लग गई. अखिलेश यादव सरकार की कुल 13 योजनाओं को योगी सरकार ने नजरअंदाज कर दिया है. अखिलेश यादव सरकार ने इन योजनाओं के लिए अपने अंतिम बजट में जो धन दिया था, उसका ब्यौरा कुछ इस प्रकार है.
- फ्री लैपटॉप योजना-100 करोड़
- यश भारती अवार्ड– 25 अवार्ड पाने वालों को 11-11 लाख पेंशन
- कृषक दुर्घटना बीमा योजना- 240 करोड़
- भूमि सेना योजना-83 करोड़
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इंदिरा आवास योजना– 3162 करोड़
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आई स्पर्श योजना–300 करोड़
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इनोवेशन सेल, इनोवेशन पुरस्कार और स्टेट इनोवेशन फंड योजना- 10 करोड़
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समाजवादी पेंशन योजना- 3327 करोड़
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कब्रिस्तान की चारदिवारी बनाने की योजना-400 करोड़
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समाजवादी स्वास्थय बीमा योजना– 20 करोड़
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लोहिया ग्रामीण आवास योजना- 1,779
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डॉ. राम मनोहर लोहिया सामूहिक नलकूप योजना-7 करोड़
- समाजवादी किसान एवं सर्वहित बीमा योजना-897 करोड़
अखिलेश की योजनाओं पर योगी की नजर:
- वहीँ योगी सरकार ने अखिलेश यादव द्वारा शुरू की गई योजनाओं के नाम में समाजवादी शब्द को भी हटा दिया.
- इन योजनाओं को राज्य की योजनाओं के नाम से चलाने का फैसला किया गया.
- कुछ योजनाओं को पूरी तरह बंद कर दिया गया.
- इसके अलावा योगी सरकार ने अखिलेश यादव के ड्रीम प्रोजेक्ट गोमती रिवर फ्रंट की जाँच के आदेश भी दे दिए थे.
- साइकिल ट्रैक तोड़ने के बारे में कैबिनेट मंत्री ने कह दिया था.
- जेपी ट्रस्ट पर भी योगी सरकार की टेढ़ी नजर है.
- अखिलेश यादव सरकार द्वारा कराये गए कार्यों की समीक्षा भी बदस्तूर जारी है.
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