लखनऊ. बीआरडी मेडिकल कॉलेज (brd medical college) में ऑक्सीजन की कमी से हुई 65 बच्चों की मौत में नया मोड़ सामने आ गया है. मुख्य सचिव की अध्यक्षता में गठित कमेटी ने अपनी रिपोर्ट में विस्तार से दोषियों के बारे में जिक्र किया गया है. उक्त रिपोर्ट पर संज्ञान लेते हुए मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने भी कड़े कदम उठाने के निर्देश जारी किए हैं. उक्त रिपोर्ट में मेडिकल कॉलेज के प्राचार्य सहित अन्य स्टाफ डॉक्टर्स व पुष्पा सेल्स के खिलाफ आपराधिक कार्रवाई करने की संस्तुति की गई है…
भ्रष्टाचार को माना मुख्य वजह
- मुख्य सचिव की समिति ने अपनी रिपोर्ट में प्रिंसिपल डॉ. राजीव मिश्र, एनेस्थीसिया बाल रोग विभाग के प्रमुख डॉ. सतीश एवं एईएस वार्ड के हेड डॉ. कफील खान सहित ऑक्सीजन सप्लाई करने वाली संस्था पुष्पा सेल्स के खिलाफ कानूनी कार्रवाई करने की संस्तुति की है.
- समिति ने डॉ. राजीव मिश्र, डॉ. पूर्णिमा शुक्ला, लेखा विभाग के कर्मचारियों एवं चीफ फार्मासिस्ट गजानन जायसवाल के खिलाफ भ्रष्टाचार का आरोप पाते हुए कानूनी कार्रवाई करने की जरूरत बताई है.
- साथ ही, मेडिकल कॉलेज में व्याप्त भ्रष्टाचार को खत्म करने के लिए बीते तीन बरसों में दवाओं की खरीद के सभी कागजातों की सीएजी से स्पेशल ऑडिट कराने की संस्तुति की है.
- इसके अलावा समिति ने डॉ. कफील को तथ्यों को छुपाते हुए शपथ पत्र दाखिल करने के लिए दोषी मानते हुए उनके खिलाफ कानूनी कार्रवाई करने की जरूरत पर बल दिया है.
- रोचक तथ्य यह है कि मंगलवार को मिली समिति की रिपोर्ट को पढ़ने के साथ ही मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने आरोपों के घेरे में आए सभी अधिकारियों व डॉक्टरों सहित पुष्पा सेल्स पर तत्काल कार्रवाई करने के आदेश दिए हैं.
- उक्त रिपोर्ट में प्रदेश में संचालित अन्य चिकित्सालयों में दवाई आदि की सप्लाई को भ्रष्टाचार से बचाए रखने के लिए भी कई प्रकार के सुझाव दिए गए हैं.
UTTAR PRADESH NEWS की अन्य न्यूज पढऩे के लिए Facebook और Twitter पर फॉलो करें