पिछले कई दिनों से केंद्र सरकार अपने 2 साल के कार्यकाल का जोरों शोरों से प्रचार कर रही है, जनता के बीच जाकर सरकार की उपलब्धियां गिनाई जा रही हैं। लेकिन देश में बढ़ रही महंगाई केंद्र सरकार के लिए चिंता का विषय बन गयी है।

खाद्य आपूर्ति मंत्री बोले, कहाँ है महंगाई?:

देश में बढ़ती महंगाई चिंता का विषय है, पर विडंबना यह है कि जिन्हें इस समस्या की चर्चा कर इसका समाधान ढूंढना चाहिए उन्हें यह समस्या नजर ही नहीं आ रही। केंद्रीय खाद्य आपूर्ति मंत्री रामविलास पासवान ने एक निजी चैनल के साक्षात्कार में महंगाई के प्रश्न पर कहा कि, कहाँ है महंगाई?

दाल के बाद सब्जियों के भी अच्छे दिन:

देश मे दाल के बाद अब सब्जियों के दामों में भी लगातार बढ़ोत्तरी हो रही है। पिछले 10 दिनों में सब्जियों के दामों में बढ़ोत्तरी हो गयी है। आलू करीब 25-30 रुपये किलो और टमाटर के भाव 50-60 रुपये किलो तक पहुँच चुके हैं। भोपाल की मंडियों में तो टमाटर 80 से 100 रुपये किलो में बिक रहा है। अहमदाबाद की मंडियों में भी आलू 25 रुपये किलो और टमाटर 80 रुपये किलो बिक रहे हैं।

महंगाई में भी खुश बाराबंकी के किसान:

यकीनन देश में बढ़ती महंगाई से उपभोक्ता वर्ग परेशान है, इस महंगाई के असर से खरीदने वाले जरुर परेशान हो सकते हैं, पर सूबे के बाराबंकी जिले के किसान इस महंगाई का फायदा उठा रहे हैं, उन्हें उनकी टमाटर की फसल के अब 22 से 28 रुपये किलो तक के दाम मिल जा रहे हैं।

2 साल का सूखा भी है एक कारण:

बढती महंगाई के पीछे कई कारण हो सकते हैं, देश में 2 साल से पड़ रहे सूखे ने भी महंगाई को बढ़ाया हुआ है। इसके अलावा जमाखोरों का किरदार भी महंगाई में काफी महत्वपूर्ण होता है। तो ऐसे में यदि केंद्रीय खाद्य मंत्री, कहाँ है महंगाई के स्थान पर महंगाई के कारणों की जांच और उसका समाधान निकाले तो सब्जियों के साथ-साथ आम जनता के भी अच्छे दिन आ जायेंगे।

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