मोदी सरकार का बजट एक फ़रवरी को आएगा लेकिन इसके पहले कई प्रकार की चर्चाएँ चल रही हैं. वहीँ आर्थिक सर्वे को देखते हुए सरकार की चिंता कुछ कम नहीं है. लिहाजा आम जन को उम्मीदें भी हैं और साथ में आर्थिक सुधार जैसे कदम को लेकर संशय भी है कि आखिर बजट का स्वरुप कैसा होगा.
कैसा होगा देश का बजट?
मोदी सरकार का आखिरी पूर्ण बजट आज पेश होने वाला है. वित्त मंत्री अरुण जेटली सुबह 11 बजे संसद में बजट भाषण पढ़ना शुरु करेंगे. मोदी सरकार का ये आखिरी पूर्ण बजट है, इसलिए हम सबके लिए ये जानना बेहद जरूरी है कि इस बार बजट में राहत मिलने वाली है या फिर बोझ और ज्यादा बढ़ने वाला है, उम्मीद है कि मोदी सरकार टैक्स छूट की सीमा बढ़ा सकती है. बजट को लेकर ये कहा जा रहा है कि आम आदमी को फायदा मिल सकता है, ऐसे में देखना दिलचस्प होगा कि अरुण जेटली की पोटली में जनता के लिए क्या-क्या है. वहीँ अरुण जेटली ने संकेत दिए हैं कि मिडिल क्लास के लिए बड़ी राहत मिलने वाली है.
युवाओं को रोजगार
युवाओं को रोजगार एक ऐसा मुद्दा है जिस पर मोदी सरकार को अगले चुनाव में कई सवालों के जवाब देने हैं. हालांकि पीएम मोदी कह रहे हैं कि रोजगार के आंकड़े जुटाने के तरीके ठीक नहीं हैं और वो स्वरोजगार के बढ़े अवसरों का जिक्र करते हैं. लेकिन बजट एक ऐसा अंतिम अवसर है जिसमें सरकार युवाओं के रोजगार को बढ़ाने के लिए कुछ बड़े ऐलान कर सकती है. इसके लिए कुशलता की योजनाओं में रकम का आवंटन बढ़ाने का विकल्प है. साथ निजी निवेश के लिए सरकार कुछ प्रोत्साहन के कदम घोषित कर सकती है.
मध्य वर्ग को राहत
हर चुनाव से पहले मध्य वर्ग बड़ी आस से सरकार की ओर देखता है. हालांकि जीएसटी लगने के बाद अप्रत्यक्ष कर अब बजट का हिस्सा नहीं होंगे. ऐसे में मध्य वर्ग की पूरी आशा प्रत्यक्ष कर यानी आय कर पर आकर टिक जाती है. वैसे इतिहास गवाह है कि चुनाव से पहले के अंतिम पूर्ण बजट में सरकारें मध्य वर्ग को आय कर की दरों में कोई बड़ी राहत देने से बचती रही हैं. बजट लोक लुभावन न होने के पीएम मोदी के इशारे से भी मध्य वर्ग की उम्मीदों को झटका लगा है. हालांकि जानकार कहते हैं कि हाल के सारे चुनावों में बीजेपी का मजबूती से साथ देने वाले मध्य वर्ग को दरकिनार करना सरकार के लिए थोड़ा मुश्किल होगा. इसलिए संभावना व्यक्त की जा रही है कि आय कर की दरों में मामूली राहत जरूर मिलेगी