1 अप्रैल से नया वित्त वर्ष शुरू हो चुका है और इस नए सत्र में कई चीजों के दाम में बदलाव हुआ हैं. केंद्र सरकार के बजट के प्रावधान भी नए वित्त वर्ष से लागू होते हैं. बात करे पेट्रोल डीजल की तो राजधानी दिल्ली 2014 से अब तक पेट्रोल डीजल छार साल में सबसे महंगा हुआ है.

पेट्रोल-डीजल के दाम 4 साल में चरम पर:

राजधानी दिल्ली में क्लीन फ्यूल बीएस-6 लागू होने के साथ ही पेट्रोल और डीजल की कीमतों में भी इजाफा हो गया. पेट्रोल के दाम 73.73 रुपये प्रति लीटर के साथ चार साल के उच्चतम स्तर पर पहुंच गए, जबकि डीजल 64.58 रुपये लीटर के साथ अब तक के सबसे ऊंचे मूल्य तक जा पहुंचा. हालांकि कीमतों में बढ़ोतरी को अंतर्राष्ट्रीय बाजार में कच्चे तेल के दाम में इजाफा और घरेलू ऑयल मार्केटिंग कंपनियों की ओर से होने वाली नियमित समीक्षा बताया जा रहा है, लेकिन जानकार इसे बीएस-6 की रिफाइनिंग लागत में इजाफे की भरपाई के रूप में भी देख रहे हैं और माना जा रहा है कि अगले एक दो दिन में कुछ पैसे की और बढ़ोतरी होगी.

कंपनियों के प्राइस नोटिफिकेशन के मुताबिक राजधानी में सभी करों के साथ पेट्रोल 73.73 रुपये प्रति लीटर बिकेगा. डीजल का 64.58 रुपये प्रति लीटर दाम अब तक का सबसे ज्यादा है. इससे पहले डीजल का अधिकतम मूल्य 7 फरवरी 2018 को 64.22 रुपये लीटर तक पहुंचा था.

हालांकि कंपनियों और सरकार की ओर से कीमतों में बढ़ोतरी के पीछे किसी अतिरिक्त कारण का जिक्र नहीं किया गया है. दिल्ली पेट्रोलियम डीलर्स एसोसिएशन के पूर्व प्रेसिडेंट निशीथ गोयल ने कहा कि यह पूरी तरह सरकार पर है कि वह क्लीन फ्यूल की लागत खुद वहन करेगी या ग्राहकों पर डालेगी। हमारे स्तर पर कोई बदलाव नहीं होने जा रहा. संभवतः आजकल में 30-40 पैसे की बढ़ोतरी और हो जाए.

CNG-PNG के भी बढ़े दाम: 

वहीं सीएनजी और पाइप से आपूर्ति की जाने वाली रसोई गैस (पीएनजी) की कीमतें क्रमश: 90 पैसे प्रति किलोग्राम और 1.15 रुपये प्रतिमानक घन मीटर (एससीएम) बढ़ा दी गई हैं. सरकार द्वारा प्राकृतिक गैस का मूल्य बढ़ाकर दो साल के उच्चतम स्तर पर पहुंच जाने के बाद यह वृद्धि की गई है.

गौरतलब है कि प्राकृतिक गैस की कीमतें 6 प्रतिशत बढ़कर 3.06 डॉलर प्रति 10 लाख ब्रिटिश थर्मल यूनिट हो गई है. राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र (एनसीआर) में वाहनों को सीएनजी और घरों में पीएनजी की आपूर्ति करने वाली कंपनी इंद्रप्रस्थ गैस लिमिटेड (आईजीएल)  ने कहा कि इस वृद्धि का वाहनों के प्रति किलोमीटर ईंधन खर्च पर मामूली असर होगा. उसने कहा कि ऑटो के लिए यह वृद्धि दो पैसे प्रति किलोमीटर, टैक्सी के लिए चार पैसे प्रति किलोमीटर और बसों के लिए 26 पैसे प्रति किलोमीटर होगी.

इलेक्ट्रानिक्स सामानों के दाम में भी इजाफा

रविवार से टीवी, मोबाइल सहित इलेक्ट्रॉनिक्स और काॅस्मैटिक सामान महंगे हो गए हैं। यह जीएसटी में हुए बदलाव के कारण हुआ है। इलेक्ट्राॅनिक्स सामान पर पहले कस्टम ड्यूटी नहीं थी जो अब 2 प्रतिशत बढ़ गई है। लिहाजा फ्रिज, एलईडी, एसी, वाॅशिंग मशीन व अन्य सामान के कीमतों भी मामूली बढ़ोतरी हुई है। कस्टम ड्यूटी बढ़ने के कारण इलेक्ट्रॉनिक्स सामान महंगे हुए हैं। इससे उपभोक्ताओं पर सीधा असर पड़ेगा।

 

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