अगर आप मेरठ में रह रहे हो तो अब सावधान हो जाएं यहां ऐसी कोई चौखट नही जहां क्राइम ने अपनी दस्तक ना दी हो। मेरठ में 24 घंटे के भीतर 4 कत्ल हो चुके हैं। कत्लों की इन वारदातों से शहर सहमा हुआ है। एक के बाद एक 4 कत्ल कावड़ यात्रा में अलर्ट रहने का दावा करने वाली मेरठ पुलिस के दावों की पोल खोलता है।
मामला शहर के नौचंदी थाना क्षेत्र का है। जहां क्रिकेट में रन बनाने को लेकर झगड़े के बाद दोस्त ने ही दोस्तों का कत्ल कर दिया। घटना मेरठ के थाना नौचंदी क्षेत्र के सेंट्रल मार्केट की है। जहां पर बाइक सवार बदमाशों ने स्कूटी सवार दो भाइयों पर ताबड़तोड़ गोलियां चला दी जिसमें एक भाई की हत्या हो गई है और दूसरा अभी भी जिंदगी और मौत से लड़ रहा है। यहां भी यही देखा गया सुरक्षा का दावा करने वाली ख़ाकी जल्द ही अपराधियों को पकड़ने का दावा कर रही है।
जनपद मेरठ छावनी में तब्दील’ फिर भी ख़ाकी का रसूल नाकाम, 24 घंटे 4 क़त्ल’ क्राइम का ग्राफ घटा या बढ़ा DGP साहब’, मेरठ के एसएसपी ‘राजेश कुमार पांडेय’ एनकाउंटर स्पेशलिस्ट, राजेश पांडेय कानून व्यवस्था में फेल’ योगी का सपना बनाने का था ‘रामराज्य’ अधिकारियों ने बनवा डाला ‘रावणराज्य’ कप्तान साहेब मेरठ छोड़ो तुमसे नाही हो पाएगा क्राइम कंट्रोल’ ऐसे तमाम सवाल लोगों की जुबान पर हैं। बताया जा रहा है कि पूरा शहर छाबनी ने तब्दील कर दिया गया। लेकिन खूनी हत्यारे पकड़े जाना पुलिस के लिए चुनौती बने हुए हैं।
दरअसल मेरठ के शास्त्री नगर इलाके में रहने वाले दानिश और शोएब दो भाई थे। यह अपने दोस्तों के साथ अक्सर क्रिकेट मैच खेला करते थे। हाल ही में एक क्रिकेट मैच के दौरान दोस्तों से रन बनाने को लेकर झगड़ा हो गया। जिसके बाद दोनों पक्षों के बीच फैसला भी करा दिया गया। लेकिन दूसरे लोगों को यह फैसला नागवार गुजरा और उन्होंने रास्ते में मौका पाकर बाजार जा रहे दोनों भाइयों पर ताबड़तोड़ गोलियां बरसा दी। हमले के दौरान दानिश ने मौके पर ही दम तोड़ दिया, जबकि शोएब को गंभीर हालत में अस्पताल में भर्ती कराया गया है। वहीं पुलिस ने इस मामले में 4 टीमें लगा दी है। हत्यारोपियों के घर दबिश भी दी जा रही है लेकिन अभी तक उनका कोई सुराग पुलिस के हाथ नहीं लग सका है।
इससे पहले भी आज मेरठ के थाना खरखौदा क्षेत्र में पति-पत्नी की बदमाशों ने गोली मारकर हत्या कर दी थी। इसके अलावा मेरठ के थाना लिसाड़ी गेट क्षेत्र में इज्जत की खातिर एक भतीजे ने अपनी बुआ को मौत के घाट उतार डाला। शहर में कानून व्यवस्था कायम रखने का दम भरने वाली पुलिस के हाथ अभी तक कातिलों का कोई सुराग नहीं लग सका।