मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने यूपी के 22 करोड़ लोगों की सुरक्षा और थाने जाने के झंझट से छुटकारा पाने के लिए शनिवार को ‘यूपी 100 UP’ का शुभारम्भ किया। भले ही यह कॉल सेंटर देश-विदेश से आधुनिक बनाया गया है लेकिन इससे पुलिसिंग में संकट के बादल दिखाई पड़ सकते हैं। इस मामले में कई लोगों ने अपनी राय देते हुए बताया कि महिलाओं की सुरक्षा के लिए भी सीएम ने ‘वीमेन पॉवर लाइन 1090’ योजना चलाई थी लेकिन अब यहां महिलाओं को कोई मदद नहीं मिलती। सीएम की कई ऐसी योजनाएं हैं जो कुछ दिन चलने के बाद ठंडे बस्ते में चली जाती हैं।
क्या सफल हो पायेगी पैरलल पुलिसिंग
- ‘यूपी 100 UP’ और उत्तर प्रदेश पुलिस एक साथ कैसे काम करेगी यह वक्त बताएगा।
- ऐसा माना जा रहा है इन दोनों के बीच अगर बेहतर तालमेल न बना तो दिक्कत आ सकती है।
- बताया जा रहा है इस सेवा के शुरू होने से अब यूपी की जनता को थाने जाना नहीं पड़ेगा।
- अगर इस सेवा के बाद लोग थाने नहीं जायेंगे तो क्या केवल इन गाड़ियों में मौजूद पुलिसकर्मी ही पूरे मामले को निपटा लेंगे?
- यहां कोई भी शिकायत दर्ज करवा सकता है।
- लोगों का कहना है कि अगर कोई भी शिकायत दर्ज करा देगा तो अपराधी खुद घटना को अंजाम देंगे और पुलिस में कम्प्लेन भी कर देंगे।
- इससे अपराध घटेगा नहीं बल्कि और बढ़ेगा।
- लोगों की सुविधा के लिए बनाई गई यह सेवा खतरे की घण्टी साबित हो सकती है।
- लोगों का यह भी मानना है कि पुलिस इस सेवा के बाद ग्रामीण इलाकों में वर्दी का रौब दिखाकर लोगों को परेशान भी करेंगे।
कई योजनाओं को इसमें किया जायेगा शामिल
- उत्तर प्रदेश में चल रही परियोजनाओं में आगे चलकर इस परियोजना से पब्लिक सेफटी की बेसिक सर्विसेज को भी इंटीग्रेड किए जाने का काम होगा।
- इसमें फायर सर्विसेज, हाईवे पुलिसिंग, इंटीग्रेटेड ट्रैफिक सिस्टम, स्मार्ट सिटी सर्विलांस, वूमेन पॉवर लाइन समेत कई योजनाओं को शामिल किया जाएगा।
- ‘यूपी 100 UP’ में प्रदेश के किसी भी कोने से लोग मोबाइल से कॉल, एसएमएस, ईमेल या सोशल मीडिया के माध्यम से अपनी शिकायत दर्ज करवा सकेंगे।
- इस कंप्लेन को तुरंत ट्रेस किया जाएगा लगातार इस पर फॉलो अप लिया जाएगा।
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