जगतगुरु को ताजमहल में प्रवेश से रोके जाने पर संत एवं धर्माचार्य में रोष
मथुरा-
तपस्वी छावनी अयोध्या पीठाधीश्वर जगत गुरु परमहंस आचार्य महाराज को आगरा ताज महल में प्रवेश से रोके जाने पर धर्म नगरी वृंदावन के संत एवं धर्माचार्य में भारी रोष व्याप्त है संतों का कहना है भगवा के नाम पर किसी संत को पुरातत्व महत्व के सरवर में प्रवेश से रोका जाना संतों का अपमान है.
अखंड दया धाम के महामंडलेश्वर स्वामी भास्करानंद महाराज ने कहा कि देश और प्रदेश में भाजपा की सरकार होने के बावजूद किसी संत को भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण विभाग द्वारा संरक्षित धरोहर में प्रवेश से रोका जाना नियम विरुद्ध एवं संत का अपमान है. सरकार को इस बात का संज्ञान लेते हुए संत को इस तरह रोके जाने वाले अधिकारी एवं कर्मचारियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई करनी चाहिए.
काशी विद्वत परिषद पश्चिमी भारत प्रभारी कार्ष्णि नागेंद्र महाराज ने प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए कहा कि जगद्गुरु परमहंस आचार्य को भगवा धारी कहकर ताजमहल में प्रवेश नहीं करने देने की घटना की जितनी निंदा की जाए कम ही है. यह घटना 7 साल पहले स्वयं उनके साथ भी हुई थी. उन्होंने भी केसरिया वस्त्र धारण कर रखे थे और गले में भगवा कलर का राधे-राधे का दुपट्टा पहन रखा था. भगवा का अपमान अब सहन नहीं होगा. मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ महाराज से जो एक भगवा धारी संत हैं महंत हैं उनको इस बात को संज्ञान में लेना चाहिए. कहा कि यह जो परंपरा चली आ रही है इसको बंद करना चाहिए कि ताजमहल में भगवाधारी या केसरिया पहन के कोई भी ताजमहल घूमने जा सकता है.
भागवत प्रवक्ता संत राजेंद्र महाराज ने सीआईएसएफ के जवानों द्वारा महंत जगतगुरु परमहंस महाराज को ताज महल में प्रवेश से रोके जाने की वह भर्त्सना की है उनका कहना है कि ताजमहल एक विश्व स्तरीय पर्यटन स्थल है हर किसी को जाने का अधिकार है भगवा के नाम पर एक संत को रोका जाना पूरे संत समाज एवं सनातन धर्म का अपमान है। कहा कि अपने देश में ही एक भगवाधारी संत को इस तरह रोका जाना ठीक नहीं है. मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को इस मामले में तत्काल कार्यवाही करनी चाहिए.
Report – Jay