बुधवार 1 फ़रवरी 2017 को उत्तर प्रदेश के कानपुर जिले के जाजमऊ इलाके में गिरे मौत का अपार्टमेंट को कौन भूलकता है. जिसमे 12 लोगों की मौत हो गई थी जब की करीब 60 लोग इस इमारत के नीचे दब गए थे जिन्हें एनडीआरएफ की बटालियन ने रेस्क्यू ऑपरेशन कर के बचाया था. इस मामले में आज एक और बड़ा खुलासा हुआ है. सूचना का अधिकार ‘आर.टी.आई’ के बाद श्रम विभाग ने इसबात का खुलासा किया की जाजमऊ में निर्माणाधीन टेनरी का निर्रिक्षण नही किया गया था. यही नही इस मामले में इस बात का भी खुलासा हुआ की सपा नेता महताब आलम के रसूक के चलते निरिक्षण नही किया गया था.
ये थी मौत के अपार्टमेंट की पूरी घटना-
- कानपुर के जाजमऊ इलाके के चकेरी थाने स्थित एक इमारत का अवैध तरीके से निर्माण किया जा रहा था.
- इस अवैध निर्माण खादी-खाकी और केडीए ‘कानपुर डेवलपमेंट अथॉरिटी’ के गठजोड़ से किया जा रहा था.
- मौत के इस अपार्टमेंट को बनवाने वाले समाजवादी पार्टी के पूर्व जिलाध्यक्ष महताब आलम है.
- बुधवार 1 फ़रवरी 2017 की दोपहर अचानक ये निर्माणाधीन इमारत ढह गई.
- जिसमें 12 लोगों की मौत हो गई.
- जब की करीब 60 लोग इस मलबे के नीचे फँस गए.
- जिन्हें एनडीआरएफ की बटालियन ने एक दिन से ज्यादा देर तक रेस्क्यू ऑपरेशन चला कर बचाया था.
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