केजरीवाल सरकार में महिला एवं बाल विकास मंत्री संदीप कुमार की बुधवार को कथित अश्लील सीडी सार्वजनिक होने के बाद उन्हें मंत्रिमंडल से निष्कासित कर दिया गया। ओम प्रकाश नाम के एक शख्स ने बुधवार शाम को यह सीडी न्यूज़ चैनलों को भेजी थी। जिसके बाद अरविन्द केजरीवाल के घर पर हुई एक बैठक में संदीप कुमार को बर्खास्त करने का फैसला लिया गया। बता दें कि संदीप कुमार केजरीवाल सरकार के तीसरे मंत्री हैं जिन्हें मंत्रिमंडल से बर्खास्त किया गया है।

क्या है सीडी में?

  • सीडी में संदीप कुमार के 11 आपत्तिजनक फोटोज और एक अश्लील वीडियो है।
  • जिनमें संदीप कुमार महिलाओं के साथ आपत्तिजनक हालत में नजर आ रहे हैं।
  • वीडियो में सुनाई दे रही आवाज के संदीप कुमार की आवाज होने का दावा किया गया है।
  • न्यूज़ चैनलों को बुधवार शाम यह सीडी एक चिट्ठी से साथ भेजी गई।

अज्ञात शख्स ने भेजी सीडी: 

  • एक अज्ञात शख्स ने बुधवार शाम को यह सीडी न्यूज़ चैनलों को भेजी।
  • साथ ही भेजी एक चिट्ठी में उसने लिखा, “महोदय, मुझे खास सूत्रों से एक वीडियो और कुछ फोटोज मिले हैं, जो कि अत्यंत आपत्तिजनक मुद्रा में हैं और ये सब दिल्ली सरकार के एक मंत्री संदीप कुमार के हैं।”
  • आशा व प्रार्थना है कि इस पर उचित कानूनी व हर मुमकिन कार्यवाही तुरंत प्रभाव से की जाए।
  • बाद में सीडी भेजने वाला शख्स ओम प्रकाश सामने आया।

मीडिया ने बुधवार शाम को अरविंद केजरीवाल को यह सीडी भेजी। जिसके बाद आम आदमी पार्टी के प्रवक्ता कुमार विश्वास ने मंत्री के बर्खास्त होने की जानकारी दी। अरविंद केजरीवाल ने संदीप कुमार के बर्खास्त होने के सम्बन्ध में ट्वीट भी किया।

मंत्रिमंडल से बर्खास्त होने के बाद गुरुवार को संदीप कुमार ने इस मामले पर अपनी सफाई दी। बता दें कि ये वही संदीप कुमार हैं, जिन्होंने बयान दिया था कि वह महिलाओं का इतना सम्मान करते हैं कि रोज अपनी पत्नी के पैर छूकर घर से निकलते हैं।

  • उनका कहना है कि सेक्स सीडी में वह नहीं हैं, इसकी जांच होनी चाहिए।
  • उनका कहना है कि वह समाज के लिए बलिदान देने करने वाले व्यक्ति हैं।
  • हमेशा से दलितों का उत्पीड़न किया जा रहा है। वह दलित और गरीब  हैं, उनके साथ षड्यंत्र किया गया है।

हालांकि अरविन्द केजरीवाल ने मंत्री को बर्खास्त कर दिया है, लेकिन इस सीडी ने आप सरकार के साफ़-सुथरी राजनीति का दावों की पोल जरूर खोल दी है। सीडी भेजने वाले ओम प्रकाश ने दावा किया है कि उसने 15 दिन पहले यह सीडी सीएम ऑफिस भेजी थी, लेकिन उनकी तरफ से कोई कार्रवाई नहीं की गई।

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