नोटबंदी, प्रदूषण और ट्रैफिक जाम जैसी दिक्कतों से दो चार हो रहे दिल्ली वालों को यह खबर राहत दे सकती है. साल 2015-16 के दौरान सभी राज्यों और केन्द्र शासित प्रदेशों के मुकाबले दिल्ली की प्रति व्यक्ति आय सर्वाधिक रही जो करीब 2,80,000 रुपये बैठती है.
चंडीगढ़ व सिक्किम रहे दूसरे व तीसरे स्थान पर :
- हाल ही में एक आंकड़ा सामने आया है जिसमे देश की राजधानी की औसत आय सबसे ज्यादा पाई गयी है
- बताया जा रहा है कि यह आय राष्ट्रीय औसत से तीन गुना अधिक है.
- ताजा जारी किये गये सरकारी आंकड़ों में यह जानकारी दी गई है.
- दिल्ली के बाद इस मामले में दूसरा स्थान चंडीगढ़ का आता है जिसकी प्रति व्यक्ति आय 2,42,386 रुपये है
- इसके साथ ही तीसरे स्थान पर सिक्किम का आता है जिसकी प्रति व्यक्ति आय 2,27,465 रुपये है.
- दिल्ली के उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया जारी किये गये सांख्यिकीय हैंडबुक दर्शाते हैं
- जिसके अनुसार दिल्ली का मौजूदा आंकड़ा करीब 28,000 रुपये, अथवा 13 प्रतिशत की वृद्धि को दर्शाता है
- जो प्रति व्यक्ति आय पिछले वर्ष 2,52,011 रुपये थी.
- सिसोदिया द्वारा जारी किये गये दिल्ली सांख्यिकी हैंडबुक 2016 में कहा गया है कि राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली में करीब चार करोड़ मोबाइल फोन हैं.
- ताजा सरकारी आंकड़ों में यह जानकारी दी गई है.
- इस हिसाब में राजधानी में प्रति व्यक्ति दो मोबाइल फोन हैं.
- दिसंबर 2015 में दिल्ली में मोबाइल फोन की संख्या 4.59 करोड़ थी.
- जो दिसंबर 2014 में 4.54 करोड़ थी.
- वर्ष 2011 की जनगणना के अनुसार दिल्ली में करीब 1.7 करोड़ की आबादी है.
- इसके अलावा लैंडलाइन फोन के ग्राहकों की संख्या भी दिसंबर 2014 के 31.23 लाख से बढ़कर दिसंबर 2015 में 31.57 लाख हो गयी है
- हैंडबुक के अनुसार कुल फोनधारकों की संख्या 5,10,37,816 है.