आजमगढ़ के जिलाधिकारी सुहास ने बीजिंग में पैरा-बैडमिंटन चैंपियनशिप में गोल्ड जीतकर इतिहास रचा है. सॉफ्टवेयर इंजिनियर बनने के बाद भारतीय प्रशासनिक सेवा में आये सुहास इस तरह की उपलब्धि हासिल करने वाले पहले आईएस ऑफिसर हैं.
फाइनल में इंडोनेशियाई खिलाड़ी को दी शिकस्त-
- सुहास ने एशियन पैरा-बैडमिंटन चैंपियनशिप के फाइनल में इंडोनेशिया खिलाड़ी हैरी सुशांतों को 21-4, 21-11 से हराया.
- सेमीफाइनल में सुहास ने कोरिया के क्योन सान को हराया था.
- सुहास को वाइल्ड कार्ड के ज़रिये टूर्नामेंट में खेलने का मौका मिला था.
- एक के बाद एक 6 मैच जीतकर सुहास फाइनल में पहुंचे.
बताया ज़िन्दगी की दूसरी बड़ी जीत-
- 2007 बैच के आईएएसअधिकारी सुहास ने इस उपलब्धि को अपनी ज़िन्दगी की दूसरी बड़ी जीत बताया.
- सुहास अपनी पहली बड़ी जीत आईएएस में अपने चयन को मानते है.
- रविवार को आजमगढ़ में उनके एशियन पैरा बैडमिंटन टूर्नामेंट में गोल्ड मेडल जीतने की खबर मिलते ही खुशी की लहर दौड़ गई.
- सोशल मीडिया पर उन्हें बधाइयां मिलने का तांता लग गया.
- बचपन से एक पैर ख़राब होने की वजह से दिक्कत झेल रहे सुहास ने चुनौतियों से लड़ना सीखा.
- यूपी के मुख्यमंत्री अखिलेश यादव के दफ्तर ने ट्वीट में सुहास की उपलब्धि की सराहना करते हुए इसे प्रदेश और देश का गौरव बढ़ाने वाला बताया है.
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