2019 के लोकसभा चुनावों की सभी पार्टियों ने तैयारियां शुरू कर दी है। बीजेपी ने भी सत्ता में वापसी के लिए सभी सियासी गठजोड़ करना शुरू कर दिया है। इसके अलावा उत्तर प्रदेश में भारतीय जनता पार्टी कई लोकसभा सांसदों की टिकट काटने वाली है। खबरें हैं कि संसद का मॉनसून सत्र खत्म होने के बाद सांसदों को इसकी सूचना दी जा सकती है। इसके अलावा भारतीय जनता पार्टी के कई विधायक और राज्य सरकार के मंत्री लोकसभा चुनाव लड़ने की तैयारी कर रहे हैं। सपा और बसपा का गठबंधन होने की स्थिति में यूपी सरकार के कई बड़े मंत्री और विधायक लोकसभा का चुनाव लड़ सकते हैं।
कई मंत्री लड़ सकते हैं चुनाव :
कांग्रेस से भाजपा में आयी सीएम योगी आदित्यनाथ सरकार की मंत्री रीता बहुगुणा जोशी के लोकसभा चुनाव लड़ने की संभावनायें है। 2014 में वे लखनऊ लोकसभा सीट से कांग्रेस से चुनाव लड़ी थीं लेकिन भाजपा के राजनाथ सिंह से करीब तीन लाख वोट से हार गयी थी। उसके बाद वे भाजपा में शामिल हुईं और लखनऊ कैंट से टिकट हासिल कर योगी सरकार में मंत्री बनी थी। गृहमंत्री राजनाथ सिंह इस बार भी लखनऊ ही लड़ेंगे। इनके अलावा ऊर्जा मंत्री श्रीकांत शर्मा भी मथुरा से लोकसभा चुनाव लड़ सकते हैं। वर्तमान में मथुरा से अभिनेत्री हेमा मालिनी सांसद हैं और वे फिर से इसी सीट से चुनाव लड़ने की इच्छा जता चुकी हैं।
बड़े नाम भी हैं चर्चाओं में :
इनके अलावा राज्य सरकार के स्वास्थ्य मंत्री सिद्धार्थ नाथ सिंह के भी लोकसभा चुनाव लड़ने की चर्चा है। उन्हें इलाहाबाद से लोकसभा प्रत्याशी बनाया जा सकता है। इसके साथ ही कानून मंत्री ब्रजेश पाठक भी लोकसभा का चुनाव लड़ सकते हैं। वे 2004 में उन्नाव सीट से लोकसभा सांसद रह चुके हैं लेकिन पिछला चुनाव वे हार गए थे। वर्तमान में भाजपा के सच्चिदानंद साक्षी इस सीट से सांसद हैं। भाजपा के जानकार सूत्रों का कहना है कि कानपुर में भाजपा के बड़े और पुराने नेता सतीश महाना भी लोकसभा का चुनाव कानपुर सीट से लड़ सकते हैं।