पाकिस्तान में पूर्व क्रिकेटर और नेता इमरान खान पाकिस्तान की सत्ता संभालने वाले हैं, ये लगभग तय हो गया है। पाकिस्तान के आम चुनावों में इमरान खान की पार्टी सबसे बड़ा दल बनकर उभरी हैं हालाँकि उसके पास अब भी बहुमत नहीं है। ऐसे में इमरान को प्रधानमंत्री बनने के लिए गठबंधन का सहारा लेना होगा। पाकिस्तान की 272 में 270 सीटों पर हुए चुनाव में इमरान खान की पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ पार्टी सबसे आगे चल रही है। दूसरे नंबर पर नवाज शरीफ की पार्टी पीएमएल-एन और तीसरे नंबर पर बिलावल भुट्टों की पार्टी पाकिस्तान पीपुल्स पार्टी है। इसके बाद भी कहा जा रहा है कि देश में इमरान की सरकार नहीं बल्कि ‘सेना की सरकार’ बनने जा रही है।
सेना के पसंदीदा हैं इमरान खान :
मिल रहे रुझानों के मुताबिक, पूर्व क्रिकेटर इमरान खान की पार्टी तहरीक-ए-इंसाफ सबसे आगे, उसके बाद पीएमएल-एन और पीपीपी है। हैरान कर देने वाली बात है कि इमरान खान की आंधी के सामने पाकिस्तान मुस्लिम लीग से शहबाज शरीफ और पाकिस्तान पीपल्स पार्टी के सह-अध्यक्ष बिलावल भुट्टो चुनाव हार गए हैं। एक्सपर्ट्स के मुताबिक, ‘’विदेशी मामलों में पाकिस्तान की नीति वही होगी जो पाकिस्तान की सेना तय करेगी। इमरान खान खुद भी कह चुके हैं कि वह सेना के साथ मिलकर काम करेंगे। पाकिस्तान में इमरान के बारे में कहा जाता है कि वह सेना के पोस्टर बॉय हैं। वह वही करते हैं जो सेना उनसे कहती है।’
ISI की पसंद हैं इमरान :
पाकिस्तान में सरकार भले ही इमरान खान की बनने जा रही हो लेकिन उसमें परदे के पीछे से सेना काम करेगी। पाकिस्तान के आम चुनाव में इमरान खान को सेना का समर्थन हासिल है। ऐसे में इमरान की इस जीत को इस चुनाव को सेना की जीत माना जा रहा है। इतना ही नहीं, इमरान खान भारत की दुश्मन खुफिया एजेंसी आईएसआई की पसंद माने जाते हैं। आईएसआई भारत में कई आतंकी हमले कराने की साजिश में शामिल रही है। ऐसे में इमरान खान भले देश के पीएम बन जाएँ लेकिन असली सत्ता तो पाक सेना और ISI के हाथ में रहने वाली है।