समाजवादी पार्टी में कलह के बाद उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनावों से पहले प्रियंका की भूमिका को लेकर कांग्रेस में भी मदभेद पैदा हो गये हैं। कांग्रेस रणनीतिकार प्रशांत किशोर चाहते हैं कि दीपावली के बाद यूपी में प्रियंका की ताबड़तोड़ सभाए करायी जाएं। वहीं राहुल गांधी इसके पक्ष में नहीं हैं। राहुल का मानना है कि उनके अलावा राजबब्बर, शीला दीक्षित और संजय सिंह की अगुवाई में यूपी चुनाव का प्रचार अभियान चलाया जाए।
- पीके की रणनीति के मुताबिक राहुल देवरिया से दिल्ली तक किसान यात्रा निकाल चुके हैं।
- जिसके बाद अब जिलों में राहुल संदेश यात्राएं निकाली जा रही हैं।
- पीके मानते हैं कि किसान यात्रा को अच्छा रेसपॉन्स मिला है।
- किसान यात्रा में खाट सभा और यात्रा के कार्यक्रम में खासी भीड़ जुटी थी।
- जिसके बाद पीके चाहते हैं कि दीपावली के बाद प्रियंका यूपी में प्रचार करें।
- प्रियंका सघन प्रचार करेंगी तो कांग्रेस को काफी फायदा मिलेगा।
- लेकिन राहुल विधानसभा चुनाव में वे प्रियंका का सीमित उपयोग चाहते हैं।
- टीम पीके के एक सदस्य प्रियंका को लेकर किसी तरह के मतभेद से इन्कार करते हैं।
- उन्होंने इन अटकलों को भी बेबुनियाद बताया कि कांग्रेस और प्रशांत किशोर में अनबन चल रही है।
प्रियंका की पहल पर बाहुबली विधायक की बेटी ने थामा कांग्रेस का हाथ
चोटिल हो सकती है प्रियंका की छविः
- पीके चाहते हैं कि कांग्रेस के पक्ष में बने इस माहौल को वोट में तब्दील करने के लिए राहुल और प्रियंका लगातार यूपी में सक्रिय रहें।
- लेकिन राहुल विधानसभा चुनाव में वे प्रियंका का सीमित उपयोग चाहते हैं।
- राहुल चाहते हैं कि प्रियंका की प्रतिष्ठा को दांव पर लगाकर यूपी में चुनाव न लड़ा जाए।
- कांग्रेस के ज्यादातर नेता राहुल की इस इस राय के साथ बताए जा रहे हैं।
- कांग्रेसी नेताओं का भी मानना है कि प्रदेश भर में उनके तूफानी दौरे कराने के बजाय उन्हें चुनिंदा क्षेत्रों तक ही सीमित रखा जाए।
- विधानसभा चुनाव में कांग्रेस से बहुत अच्छे प्रदर्शन की उम्मीद नहीं है।
- ऐसे में प्रियंका की ज्यादा सभाएं कराने से उनकी छवि को धक्का पहुंच सकता है।
यूपी में प्रियंका की लोकप्रियता है, उन्हें प्रचार के लिए आना चाहिए -शीला
UTTAR PRADESH NEWS की अन्य न्यूज पढऩे के लिए Facebook और Twitter पर फॉलो करें