विधानसभा चुनाव आचार संहिता लगने के बाद से ही जिला प्रशासन ने चौक-चौराहों, सड़क किनारे लगे विभिन्न दलों के नेताओं के बैनर व होर्डिंग हटवाने का अभियान जोर-शोर से शुरू किया है। अमेठी के मुसाफिरखाना कोतवाली के ठीक सामने लगे होर्डिंग व बैनर उतारे गए। इसके बाद भी अभी जिले के कई क्षेत्र में कई स्थानों पर बड़े होर्डिंग लगे हैं।
DM ने आचार संहिता का सख्ती से पालन करने का किया दावा
- जिला अधिकारी अमेठी चन्द्रकान्त पांडेय ने आचार संहिता का पालन सख्ती से करने का दावा किया है।
- चुनाव की घोषणा होते ही जिला प्रशासन चुनाव की तैयारी जुट गया है।
- नए वर्ष के अवसर पर विभिन्न राजनीतिक दलों भाजपा, बसपा, सपा व कांग्रेस के टिकट के दावेदारों ने होर्डिंग तथा बैनर लगवाए थे।
- तीन जनवरी को अधिसूचना जारी होते ही इनको उतरवाने की अटकलें लगने लगी।
- क्योकि जिले के कई चौराहो के चारों तरफ लगे होर्डिंग देख-देखकर लोग ऊब चुके थे।
- लोगों का आवागमन में भी परेशानी का सामना करना पड़ता था।
- सड़क किनारे लगे होर्डिंग से पटरी पर पैदल चलने तक का रास्ता नहीं मिलता था।
- प्रशासन ने राजनीतिक दलों के चुनाव सामाग्री की सफाई कराते हुए मुसाफिरखाना कस्बे में तहसीलदार, कोतवाल ने राजस्व व पुलिसकर्मियों के साथ राजनीतिक दलों के बैनर, पोस्टर व होर्डिंग हटवाईं।
सोशल मीडिया से जागा प्रशासन
- सोशल मीडिया पर आचार संहिता लागू होने के बाद भी नेताओं के होर्डिग न उतारने के लिए जिला प्रशासन की उदासीनता को लोगों ने वायरल कर दिया।
- इसके बाद अधिकारियों की टीम बाहर निकली।
- इस संबंध में जिलाधिकारी अमेठी चन्द्रकान्त पाण्डेय ने बताया कि जिले में लगे राजनीतिक दलों के होर्डिंग व बैनर को हटवाया गया है।
- यदि पुन: प्रत्याशियों द्वारा बैनर, होर्डिंग सार्वजनिक स्थानों पर लगाया जाता है तो उसके खिलाफ कार्रवाई की जाएगी।