बीते दिनों चौबेपुर के मिल्कोपुर में बम धमाके में किए गए पिता-पुत्र हत्या के मामले में वाराणसी पुलिस को सोमवार को बड़ी सफलता हाथ लगी। पुलिस ने तीन अभियुक्त को गिरफ्तार कर उनके पास से विस्फोटक बरामद कर लिया। इसकी जानकारी पत्रकारवार्ता में एसएसपी वाराणसी आनंद कुलकर्णी ने पुलिस लाइन में कही।
क्या है पूरा मामला:
मिली जानकारी के मुताबिक हत्या का कारण 10 बीघा जमीन बनी। पुलिस के मुताबिक वर्मा बंधुओ ने अपने जमीन के देखरेख का जिम्मा मुन्नीलाल को दिया था। मुन्नीलाल के पुत्र सोनू यादव ने उस जमीन में तीन तरफ से बाउंड्री कराई मगर जब लाल जी के मकान के पीछे बाउंड्री वाल कराई जा रही थी तो सोनू यादव का मृतक लालजी यादव और उसके परिवार से विवाद हो गया।
महीनों पहले बनाई थी योजना:
जिससे खुन्नस खाकर सोनू ने उड़ा देने की धमकी दी। जिसके बाद मुन्नीलाल और सोनू यादव ने पिता-पुत्र को बम से उड़ाने की योजना महीनों पहले बनाई गई। जिसके बाद मथुरा के पोलटेक्निक कॉलेज से डिप्लोमा करने के कारण चुनार सीमेंट फैक्ट्री, उड़ीसा के सम्भलपुर और रायगढ़ में भी काम करने की वजह से विस्फोट से चट्टान उड़ाने वालों से दोस्ती हो गई थी, जिसकी वजह से सोनू विस्फोट करने का अनुभव प्राप्त कर रखा था।
घटना से पहले ट्यूबेल पर ट्रायल किया:
पुलिस ने बताया कि सोनू ने एक माह पूर्व विस्फोटक सामग्री अपने दोस्त से प्राप्त कर घटना से चार दिन पहले अपने ट्यूबेल पर ट्रायल किया। जिसके बाद सोनू पर किसी को शक न हो वह घटना के दिन 28 अगस्त को वह सुबह अपने पिता के साथ रिश्तेदारी चला गया और रात्रि 11 बजे वह पुनः अपने ट्यूबेल पर पहुंचा.वहा पहले से छुपाये गये तार व डेटोनेटर को बैट्री से सेट कर लालजी व उनके पुत्र अजय के सिरहाने रखकर अपने रिश्तेदारी भाग गया और मुन्नीलाल अपने घर चला गया।
जल्दबाजी में साईकिल छोड़ कर भागा:
जल्दबाजी में मुन्नीलाल ने घटनास्थल पर ही अपनी साइकल छोड़कर भाग गए जिसे पुलिस ने अपने कब्जे में ले लिया था। घटना के बाद सीएम ने उसे सज्ञान लिया था और जिला प्रशासन को फटकार भी लगाई थी।
रिपोर्ट:विवेक पाण्डेय
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