चुनाव सुधार और राजनैतिक शुचिता के तमाम दावों, वादों के इतर उत्तर प्रदेश के विधानसभा चुनावों की हकीकत कुछ और ही कह रही है।
- उत्तर प्रदेश में इस बार के विधानसभा चुनावों में जहां मैदान में उतरे कुल उम्मीदवारों में बीते चुनाव के मुकाबले अपराधियों की तादाद में एक फीसदी की मामूली गिरावट देखी जा रही है।
- वहीं गंभीर आपराधिक मामलों के आरोपियों और धनबलियों की तादाद में खासा इजाफा हुआ।
704 प्रत्याशियों पर हत्या, रेप सहित गंभीर केस दर्ज
- अपराधियों और करोड़पतियों को अपना उम्मीदवार बनाने में कोई दल किसी से पीछे नहीं रहा है।
- एसोसिएशन फॉर डेमोक्रटिक रिफार्म (एडीआर), यूपी इलेक्शन वॉच की ओर से जारी उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनावों के सभी चरणों के प्रत्याशियों के शैक्षिक, अपराधिक व आर्थिक रिकार्ड की समेकित समीक्षा रिपोर्ट के मुताबिक इस बार विधानसभा का चुनाव लड़ रहे कुल 15 फीसदी यानी कि 704 प्रत्याशियों पर हत्या, बलात्कार, हत्या के प्रयास, अपहरण व सांप्रदायिक दंगे भड़काने, चुनावी व महिला हिंसा के मामले दर्ज हैं।
- वहीं 2012 के विधानसभा चुनावों में यह तादाद 557 यानी केवल 8 फीसदी ही थी। इस बार के विधानसभा चुनाव में 62 हत्यारोपी, 10 बलात्कार के आरोपी और 22 दंगे भड़काने के आरोपी चुनाव लड़ रहे हैं।
इतने फीसदी अपराधियों को मिला टिकट
- एडीआर के मुख्य समन्वयक संजय सिंह ने रिपोर्ट जारी करते हुए बताया कि अपराधियों को टिकट देने के मामले में भी मानों राजनैतिक दलों में होड़ सी लगी है।
- बहुजन समाज पार्टी ने 38 फीसदी तो समाजवादी पार्टी ने 37 फीसदी, भारतीय जनता पार्टी ने 36 फीसदी तो कांग्रेस ने 32 फीसदी अपराधियों को टिकट दिया है।
- गंभीर अपराधियों को टिकट देने के मामले में भी यही क्रम बरकरार रहा है।
- बसपा ने सबसे ज्यादा 31 फीसदी तो सपा ने 29 फीसदी और भाजपा ने 26 फीसदी गंभीर आपराधिक मामलों के आरोपियों को टिकट दिया है।
करोड़पतियों की तादाद में हुई भी खासी बढ़ोत्तरी
- इस बार उत्तर प्रदेश विधानसभा का चुनाव लड़ने वाले करोड़पतियों की तादाद में भी खासी बढ़ोत्तरी देखी जा रही है।
- साल 2012 के विधानसभा चुनावों में जहां 20 फीसदी करोड़पति मैदान में थे वहीं इस खबर 30 फीसदी धनबली अपनी किस्मत अजमाने चुनाव मैदान में उतरे हैं।
- अपराधियों की ही तर्ज पर धनबलियों को टिकट देने में राजनैतिक दलों में होड़ रही है।
- बसपा ने सबसे ज्यादा 84 फीसदी तो सपा और भाजपा ने 79-79 फीसदी करोड़पतियों को टिकट दिया है।
- कांग्रेस के 66 फीसदी प्रत्याशी तो लोकदल के 30 फीसदी प्रत्याशी करोड़पति हैं।
- टाप तीन धनबलियों में आगरा दक्षिणी के कांग्रेस प्रत्याशी नजीर अहमद 211 करोड़ रुपये की संपत्ति तो दूसरे नंबर पर आजमगढ़ के मुबारकपुर से बसपा प्रत्याशी गुड्डू जमाली 118 करोड़ रुपये की संपत्ति और मथुरा के मांट से भाजपा के सतीश शर्मा 114 करोड़ रुपये की संपत्ति के साथ काबिज हैं।
- कर्जदारों की सूची में भाजपा के इलाहाबाद के प्रत्याशी नंदगोपाल गुप्ता नंदी 26 करोड़ रुपये की देनदारी के साथ पहले स्थान पर हैं।
- इस बार महिला प्रत्याशियों को टिकट देने के मामले में भी मामूली इजाफा ही हुआ है।
- पिछले विधानसभा चुनावों में जहां 8 फीसदी महिलाएं उम्मीदवार थी वहीं इस बार यह बढ़कर 9 फीसदी हो गयी है।
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Sudhir Kumar
I am currently working as State Crime Reporter @uttarpradesh.org. I am an avid reader and always wants to learn new things and techniques. I associated with the print, electronic media and digital media for many years.