उत्तर प्रदेश के विभिन्न जिलों से सैकड़ों की संख्या में चयनित बीटीसी अभ्यर्थियों ने गुरुवार को भारतीय जनता पार्टी के प्रदेश कार्यालय का घेराव कर जमकर नारेबाजी की। सड़क जाम कर प्रदर्शन कर रहे बीटीसी में चयनित अभ्यर्थियों ने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के खिलाफ मुर्दाबाद के नारे लगाए। प्रदर्शनकारियों का हंगामा ना बढ़ पाए इसके लिए भारी मात्रा में महिला और पुरुष पुलिस लगाई गई थी। प्रदर्शनकारियों ने घंटों प्रदर्शन किया इसके बाद प्रशासनिक अधिकारियों ने मांगपत्र लेकर उनका प्रदर्शन समाप्त करवाया।
प्रदर्शनकारियों ने बताया कि हम सभी स्नातक द्विवर्षीय BTC (डीएलएड) प्रवीणताधारी व शिक्षक पात्रता परीक्षा (टीईटी) उत्तीर्ण हैं। हमारे लिए उत्तर प्रदेश शासन द्वारा 15 दिसंबर 2016 को बेसिक शिक्षा विभाग में 12460 सहायक अध्यापक की भर्ती का शासनादेश निर्गत किया गया था। 12460 सहायक अध्यापक भर्ती में काउंसलिंग प्रक्रिया 18 से 20 मार्च 2017 को सफलतापूर्वक संपन्न होने के बाद जनपदवार चयन सूची तैयार करने की प्रक्रिया भी पूर्ण की जा चुकी है। भर्ती में केवल नियुक्ति पत्र वितरित किया जाना शेष रह गया है।
यह भर्ती प्रक्रिया पिछले 1 वर्ष से उच्च न्यायालय इलाहाबाद में चयन प्रक्रिया के बाद के कारण न्यायालय निर्णय के आधीन थी। जिसमें पिछली 6 फरवरी 2018 को न्यायालय की डबल बेंच ने स्पेशल अपील डिफेक्टिव संख्या 365/2017 (कुलदीप सिंह व अन्य बनाम उत्तर प्रदेश राज्य व अन्य) पर विस्तृत सुनवाई के उपरांत अपने आदेश में कहा कि ‘राज्य सरकार भर्ती की चयन प्रक्रिया में बीटीसी 2013 बैच के लिए क्वालिटी पॉइंट्स निर्धारित करते हुए आगामी 4 सप्ताह में चयन प्रक्रिया को आगे बढ़ाने के लिए निर्णय ले’।
उपरोक्त उच्च न्यायालय इलाहाबाद की डबल बेंच के आदेश से पूर्णतया स्पष्ट है कि वर्तमान में हमारी भर्ती से संबंधित न्यायालय में किसी भी प्रकार का कोई भी वाद विवाद शेष नहीं रह गया है। राज्य सरकार हमारी भर्ती को कराने के लिए पूर्णता स्वतंत्र है।
उच्च न्यायालय इलाहाबाद द्वारा उसके उपरोक्त आदेश के अनुपालन में समयपूर्ण हो चुका है। लेकिन अभी तक राज्य सरकार द्वारा हमारी भर्ती से संबंधित कोई भी निर्णय नहीं लिया गया। जिससे हम सभी अभ्यर्थी अति मानसिक तनाव से गुजर रहे हैं। हमें अपना भविष्य अंधकार में दिख रहा है। हम सभी नियुक्ति पत्र जारी करने के लिए शासन से गुहार लगा रहे हैं कि हमारी भर्ती के लिए सकारात्मक निर्णय लेते हुए भर्ती प्रक्रिया शुरू करने की की जाए। जिससे हम सभी शिक्षक बन कर देश व राष्ट्र की सेवा कर सकें।
इसके साथ ही इस वर्ष 31 मार्च को हजारों बेसिक शिक्षा विभाग के शिक्षक सेवानिवृत्त होने जा रहे हैं। जबकि पहले से ही 25 जुलाई 2017 के सुप्रीम कोर्ट के आदेश के अनुसार प्राथमिक विद्यालयों में 1,37,000 शिक्षक कम हैं। जिससे बहुत से प्राथमिक विद्यालय शिक्षक विहीन हो जाएंगे। पिछले 2 सत्र से बेसिक शिक्षा में कोई भी नई भर्ती नहीं हुई है। फिर नए सत्र में ‘स्कूल चलो अभियान’ बिना शिक्षकों के कैसे सफल बनेगा।