बाढ़ और कटान की विभीषिका झेल चुके दूबेछपरा रिंग बांध की मरम्मत और निर्माण का कार्य शुरू हो गया है. पिछले साल कटान के वजह से रिंग बांध पूरी तरह क्षतिग्रस्त हो गया था. गंगा का पानी पूरे गाँव में पसर गया था. इस बाढ़ के कारण भारी जान-माल का नुकसान हुआ था.
ग्रामीणों की आपत्ति पर डीएम ने दिया काम को 30 जून तक पूरा करने का निर्देश:
- अथक प्रयास के बाद अब इस रिंग बांध का काम शुरू हुआ है लेकिन समय की बहुत कमी है.
- प्रशासन की सुस्ती के कारण देरी से शुरू हुआ काम तेजी पकड़ते दिखाई नहीं दे रहा है.
- धीमी गति से हो रहे कार्य के कारण ग्रामीणों ने आपत्ति दर्ज की है.
- ग्रामीणों का कहना है कि अगर यही रफ़्तार रही तो कार्य पूरा होने से पहले बाढ़ आ जाएगी.
- इसके पश्चात इस कार्य का कोई लाभ नहीं होगा.
- करोड़ों का नुकसान होने के अलावा गाँव भी नहीं बच जायेगा.
- ग्रामीणों की चिंता को देखते हुए डीएम ने कार्य की रफ्तार तेज करने का निर्देश दिया.
- डीएम ने 30 जून तक पूरा कर लेने के निर्देश दिए हैं.
कटानरोधी कार्यो का डीएम ने किया औचक निरीक्षण:
- डीएम सुरेंद्र विक्रम ने दुबेछपरा बांध निर्माण व कटानरोधी कार्यों का औचक निरीक्षण किया.
- उन्होंने कहा कि यह कार्य लोगो के घर जमीन को बचाने से जुड़ा है.
- काम की गुणवत्ता बेहतर होनी चाहिए.
- समय को देखते हुए मरम्मत का कार्य तेज किया जाये.
- पिचिंग का काम भी साथ-साथ करने के डीएम ने निर्देश दिए.
- साथ ही उन्होंने कहा कि निर्धारित मानकों के अनुरूप ही कार्य होना चाहिए.
कटान पर काबू पाना प्राथमिकता:
- जिलाधिकारी ने कहा कि जरूरत के हिसाब से पिचिंग कार्य करा लें.
- डीएम ने कटानस्थल पर जाकर कार्य की गुणवत्ता परखी.
- डीएम ने निर्देश दिया कि कटानरोधी कार्य व नदी किनारे पिचिंग आदि का कार्य साथ हो.
- जिससे समय रहते कटान पर काबू पाया जा सके.
- ग्रामीणों से बातचीत कर डीएम ने कार्य की गुणवत्ता के बावत जानकारी ली.
- वहीँ ग्रामीणों ने कार्य की गति पर आपत्ति जताई.
- जिलाधिकारी ने कहा कि किसी भी प्रकार की शिकायत सीधे उन्हें बताई जाये.
सिंचाई विभाग के अधिकारियों ने भी किया दौरा:
- इसके पूर्व सिंचाई विभाग के अधिकारियों ने भी कार्य का जायजा लिया.
- ठेकेदारों को निर्देश दिया गया था कि कार्य में तेजी लायें और गुणवत्ता का ध्यान रखें.
- अधिकारियों ने मरम्मत कार्य और ठोकर निर्माण कार्य का भी जायजा लिया.
- वहीँ ग्रामीणों ने बोल्डर के साइज़ पर आपत्ति दर्ज की थी.
- तब उन्होंने कहा कि जो आवश्यक होगा, उसी का इस्तेमाल किया जायेगा.
- गैर-जरुरी सामग्री का इस्तेमाल किसी भी हालत में नहीं किया जायेगा.
केहरपुर में खतरे की आशंका:
- वही ग्रामीणों ने केहरपुर गांव को कटाने से बचाने की गुहार लगाई है.
- केहरपुर कटान के मुहाने पर खड़ा है.
- कटान की स्थिति में सबसे ज्यादा खतरा इसी कोण पर है.
- केहरपुर में कटान को रोकने के लिए इमरजेंसी प्रोजेक्ट तैयार करने के निर्देश दिए गए हैं.
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