राजधानी लखनऊ में आज यूपी कोका को लेकर प्रवर समिति की बैठक हुई। इस दौरान डिप्टी सीएम दिनेश शर्मा ने कहा कि विपक्ष की तरफ से कोई संसोधन नहीं दिया गया।, मूल रूप में यूपी कोका कानून स्वीकार किया गया, यूपी कोका बिल विधानसभा में पास हो चुका है, आज विधान परिषद की प्रवर समिति से भी मंजूरी मिल गयी। अब जल्द ही प्रदेश में कानून को लागू कर दिया जाएगा।
मकोका के तर्ज पर प्रदेश में आय़ा था कोका कानून
यूपी में अपराधियों और माफियाओं की कमर तोड़ने के लिए सीएम योगी आदित्यनाथ की सरकार एक नया कानून लेकर आय़ी।
योगी सरकार मकोका की तर्ज पर अब UPCOCA (Uttar Pradesh Control Of Organised crime) लेकर आने आई।
और कैबिनेट में पेश किया था जो पास हो गया था।
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विधानसभा में मिली थी मंजूरी
विधानसभा ने समूचे विपक्ष की गैर मौजूदगी में बीते दिनों यूपी संगठित क्राइम नियंत्रण (यूपीकोका) विधेयक 2017 को ध्वनिमत से मंजूरी दे दी थी।
विपक्ष ने इस विधेयक को ‘काला कानून’ बताते हुए सदन से बहिर्गमन किया।
CM योगी आदित्यनाथ ने सदन में विधेयक पेश किया। विपक्ष ने संभावना जतायी
कि इसका दुरुपयोग राजनीतिक बदले की भावना से हो सकता है।
उन्होंने बोला कि यह लोकतंत्र के चौथे स्तंभ के लोगों के भी खिलाफ है।
विपक्षी सदस्यों ने विधेयक को सदन की प्रवर समिति के विचारार्थ भेजने की मांग की थी।
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गैंगस्टर से भी अच्छा है कोका कानून : सीएम योगी
विधेयक पर चर्चा की आरंभ योगी ने की थी।
उन्होंने विपक्षी सदस्यों की ओर संकेत करते हुए कहा, ‘कानून व्यवस्था पर आप सबसे अधिक बहिर्गमन करते हैं
व उंगली उठाते हैं तो यूपीकोका का विरोध क्यों हो रहा है ।
मैं इस बात की गारंटी दे सकता हूं कि भाजपा ने कभी भी किसी कानून का दुरुपयोग नहीं किया है ।
हम राजनीतिक प्रतिशोध की भावना से नहीं आये हैं । ‘ योगी ने कटाक्ष किया, ‘विपक्ष के बयानों को देख रहा हूं
परजब सावन ही आग लगाये तो उसको कौन बचायेकोई इसका दुरूपयोग नहीं कर सकता है ।
गैंगस्टर एक्ट से तुलना करेंगे तो उससे भी बेहतर ये कानून है ।
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