विश्व भर में रमजान के महीने को मुकद्दस, रहमतों और बरकतों वाला महीना कहा और माना जाता है. आमतौर पर रमजान के महीने में मुस्लिम समुदाय के लोग ही रोज़ा रखते हैं. लेकिन आप को बता दें कि गोरखपुर में एक ऐसा हिन्दू परिवार भी है जो रमजान पूरे महीने यानी 30 दिन का रोजा रखता है.
मुस्लिम दोस्तों के साथ वह पूरे परम्परागत ढंग से रोजा खोलता है ये परिवार-
- रमजान के मुबारक महीने में मुस्लिम समुदाय के लोग 30 दिन का रोज़ा रखते हैं.
- लेकिन उत्तर परदेश के गोरखपुर में एक हिन्दू परिवार ऐसा भी है जो 30 दिन रोज़ा रखता है.
- इस परिवार के मुखिया लालबाबू हनुमानजी के परम भक्त हैं.
- लेकिन हर साल रमजान के मुबारक महीने में लालबाबू रोजेदार बनकर 30 दिन रोज़ा रखते हैं.
- यही नही लालबाबू के पिता भ्ाी रोजा रखते थे.
- जिसके बाद लालबाबू अब उनकी इस परम्परा केा आगे बढा रहे हैं.
- बात दें कि लालबाबू पूरी अकीदत के साथ पिछले 30 सालों से लगातार रोजे रखत रहे है.
- रोजा रखने के दौरान लालबाबू धार्मिक तौर तरीके का पूरे अनुसरण करते हैं.
- लालबाबू सवेरे सेहरी के दौरान उठा कर सेहरी करते हैं.
- इसके बाद नमाज को अदा कर के दिन भर रोजा रखते हैं.
- इस दौरान वो अपनी खिलौने की दूकान भी चलाते हैं.
- जबकि शाम को अपने मुस्लिम दोस्तों के साथ वह पूरे परम्परागत ढंग से रोजा खोलते हैं.
- साथ ही लाबाबू वाले सदका एवं फित्रा का विधिवत पालन करते हैं.
- लालबाबू ने बताया कि उन्होंने दो बेटियों के बाद पुत्र प्राप्ति के लिए रोजा रखने की मन्नत मांगी थी.
- उनकी ये मन्नत पूरी हुई और उसके बाद से उन्होंने रोज़े रखना शुरू कर दिए.
लालबाबू के पिता भी रखते थे रमजान का पूरा रोज़ा-
- लाल बाबू ने बताया की उनके पिता भी 30 रोजे रखते थे.
- उन्होने भी यह मन्नत मांगी थी कि यदि उनका कोई व्यवसाय या दुकान हो जाए तो वह अल्लाह तआला की रजा के लिए रोजे रखेंगे.
- उनकी जुबान से निकली फरियाद खुदा ने कुबूल की और उन्हें घंटाघर पर एक अच्छी दुकान मिली.
- जिसमें उन्होंने खिलौनों का व्यवसाय शुरू किया.
- रब की रहमत से यह कारोबार खूब फला.
- आज इसी दुकान पर लालबाबू और उनका बेटा दुकानदारी करते है.
- पिता गंगा प्रसाद की मृत्यु होगी.
- लेकिन रोजा रखने की इस परम्परा को उनके पुत्र लालबाबू बाखूबी अंजाम दे रहे है.