उत्तर प्रदेश में बाहुबल की राजनीति करने वाले रघुराज प्रताप सिंह यानी राजा भैया एक बार फिर सियासत में अपना दम दिखा रहे हैं। इस बार कुंडा के राजा अपनी नई पार्टी लेकर सामने आए हैं। वहीँ भतीजे अखिलेश यादव से मनमुटाव के बाद समाजवादी पार्टी छोड़कर प्रगतिशील समाजवादी पार्टी बना चुके शिवपाल यादव भी चुनावी मैदान में हैं। दोनों नेताओं के साथ आगामी लोकसभा चुनावों में गठबंधन को लेकर एक बड़ी सियासी पार्टी ने पेशकश की है।
दिलचस्प होगी 2019 की जंग :
सपा के बागी शिवपाल यादव कह चुके हैं कि चुनाव में उनकी पार्टी सभी सीटों पर अपने उम्मीदवार उतरेगी। यहां तक कि वह अपने भतीजे और समाजवादी पार्टी चीफ अखिलेश यादव के खिलाफ भी प्रत्याशी खड़ा करेंगे। सियासी गलियारों में ऐसी चर्चा है कि शिवपाल यादव की नई पार्टी बनाने के पीछे बीजेपी का सहयोग है। वहीँ राजा भैया और अखिलेश यादव के बीच आयीं दूरियों से दुनिया वाकिफ है। ऐसे में इन नेताओं का साथ आना किसी भी पार्टी के लिए मुश्किलें बढ़ा सकता है।
लोकदल ने की पेशकश :
पूर्व मंत्री व कुंडा के निर्दलीय विधायक रघुराज प्रताप सिंह राजा भैया की नवगठित पार्टी जनसत्ता दल व शिवपाल यादव की प्रगतिशील समाजवादी पार्टी (लोहिया) से हाथ मिलाने के लिए लोकदल तैयार है। लोकदल के राष्ट्रीय अध्यक्ष व पूर्व एमएलसी चौ. सुनील सिंह ने कहा कि वे एससी-एसटी एक्ट में किए गए बदलाव का विरोध कर रहे हैं। राजा भैया भी संपन्न इस वर्ग को दिए जाने वाले आरक्षण व्यवस्था का विरोध कर रहे हैं। यही हमारा वैचारिक मत एक है।