राजधानी लखनऊ के अलीगंज थाना क्षेत्र में अवैध रूप से चल रही रुई गोदाम में भीषण आग लग गई। आग लगने से इलाके में हड़कंप मच गया। धुंआ उठते देख स्थानीय लोगों ने इसकी सूचना पुलिस को दी। सूचना पाकर मौके पर पहुंची पुलिस और दमकल कर्मी आग बुझाने में घंटो जुटे रहे। करीब 3 घटो बाद आग पर काबू पाया जा सका। गनीमत रही कि इस घटना में किसी के हताहत होने की कोई सूचना नहीं आई। फ़िलहाल प्रथम दृष्टया आग लगने का कारण शार्ट सर्किट बताया जा रहा है। मौके पर घंटों अफरा-तफरी का माहौल बना रहा, पुलिस मामले की पड़ताल में जुटी है। अभी ये नहीं पता लग पाया है कि आग लगने से कितने का नुकसान हुआ है।
जानकारी के मुताबिक, अलीगंज सेक्टर एल मामा चौराहा के पास आवासीय कालोनी में 5 साल से अवैध रूप से निजामुद्दीन के रुई के कारखाने और गोदाम चल रहे है। बताया जा रहा है कि शनिवार सुबह शार्ट सर्किट से आग लग गई। देखते देखते आग ने विकराल रूप धारण कर लिया। रुईयो की गठरियों में आग लगते ही भीषण गुबार 30 से 40 ऊंचाई तक उठने लगा जिससे इलाके में अंधेरा छा गया। गोदाम के ठीक पीछे स्थित मकान संख्या एल 6/85 त्रिखा के किचन और एसी में आग लग गयी।
पड़ोस में रहने वाली त्रिखा ने बताया कि उस वक्त घर में उनका परिवार मौजूद था, जिसके बाद उन्होंने फौरन किचन से सिलिंडर और घर की लाइट बंद कर दी और घर वालो के साथ बाहर की ओर निकल आये। वहीं, गोदाम के पड़ोस स्थित एच सी पाडेय के यहां भी भीषण आग की लपटें आ रही थी। उनका पूरा परिवार छत और बालकनी से पाइप और बाल्टियों के सहारे आग पर पानी फेंक रहा था। सूचना पर मौके पर आधा दर्जन दमकल की गाड़ियों के साथ पुलिस पहुंची।
गोदाम के बाई ओर बगल में ही स्थित एक खाली मकान (जिसमे पूर्व में एसबीआई का बैंक संचालित हुआ करता था) के पीछे से दरवाजा और चैनल तोड़कर दमकलकर्मी छत के रास्ते पाइप लगाकर पानी की तेज बौछारों से आग पर काबू पाया। लगभग 3 घटो की कड़ी मशक्कत के बाद आग बुझाई जा सकी। गनीमत रही कि इस घटना में किसी के हताहत होने की कोई सूचना नहीं आई। क्योंकि आग लगने के कुछ देर बाद ही घरों के अंदर से लोग समय रहते बाहर निकल आये थे। वरना बड़ा हादसा हो सकता था।