2019 के लोकसभा चुनावों की सभी पार्टियों ने तैयारियां शुरू कर दी है। सत्ताधारी दल भाजपा ने भी अपने कार्यकर्ताओं को चुनावी निदेश देना शुरू कर दिया है। बीजेपी जानती है कि दिल्ली की सत्ता का रास्ता उत्तर प्रदेश से होकर जाता है। यही कारण है कि अपने तीन दिवसीय दौरे पर यूपी आये भाजपा अध्यक्ष अमित शाह ने कार्यकर्ताओं और पार्टी पदाधिकारियों के साथ बैठक की। खबरें हैं कि लोकसभा चुनाव को देखते हुए इस बैठक में कई वर्तमान सांसदों के टिकट काटे गए हैं जिनके नाम भी अब सामने आने लगे हैं।
कई बड़े नेताओं पर गिरी गाज :
उत्तर प्रदेश दौरे पर तीन दिन तक मंथन करने के बाद भाजपा नेतृत्व ने कई सांसदों के टिकट काटने का फैसला कर लिया है। सियासी गलियारों में ख़बरें है कि अमित शाह ने हर सांसद का रिपोर्ट कार्ड खुद जांचा और स्थानीय कमेटी से लोकसभा चुनाव के लिए नए उम्मीदवार का नाम बताने को कहा है।सूत्रों से खबर है कि प्रधानमंत्री मोदी और अमित शाह की चर्चा के बाद लगभग 25 सांसदों के टिकट काटने का फैसला हुआ है। इनमें से सबसे ज्यादा टिकट पूर्वांचल और अवध क्षेत्र के सांसदों के कटने की खबरें हैं। टिकट कटने वालों में सबसे प्रमुख नाम मुरली मनोहर जोशी, कलराज मिश्र और उमाभारती का बताया जा रहा है।
लंबी है लिस्ट :
सूत्रों के हवाले से ख़बर हैं कि जनता के बीच अच्छी छवि न होने के कारण अमित शाह ने कानपुर सांसद मुरली मनोहर जोशी, झांसी सांसद और केंद्रीय मंत्री उमाभारती, हमीरपुर सांसद पुष्पेंद्र चंदेल, इटावा सांसद अशोक दोहरे समेत कई सांसदों को अगले चुनाव से दूर रखने का इशारा किया है। सियासी गलियारों में चर्चा है कि देवरिया सांसद कलराज मिश्र, मथुरा से हेमा मालिनी, फतेहपुर सीकरी से चौधरी बाबूलाल, हरदोई से अंशुल वर्मा, उन्नाव से साक्षी महाराज, फर्रुखाबाद से मुकेश राजपूत, इटावा से अशोक दोहरे, इलाहाबाद से श्यामाचरण गुप्त, बहराइच से सावित्री बाई फुले, डुमरियागंज से जगदंबिका पाल, राबर्ट्सगंज से छोटेलाल का टिकट मुश्किल बताया जा रहा है। हालाँकि इस पर अभी तक कोई आधिकारिक पुष्टि नहीं की गयी है।