भारतीय जनता पार्टी में नकारात्मक छवि वाले सांसदों के टिकट कटेंगे.भारतीय जनता पार्टी ने एक सूची बनाई है.यह सूची 2019 के लोकसभा चुनाव को ध्यान में रखकर बनाई गई है.जो सांसद अपने कार्य में फेल हुए है उनको टिकट नही दिया जाएगा.सांंसदों के अच्छे ढ़ग से कार्य ना करने के तरीके पर पीएम मोदी पहले ही नारजगी जता चुके है.भारतीय जनता पार्टी के आलाकमान ने यूपी में 80 सीटे जीतने का लक्ष्य रखा है.भारतीय जनता पार्टी के लिए सबसे बड़ी चुनौती उनके सांसद बन चुके है जिससे निपटने के लिए पार्टी 2019 के चुनाव में इन सांसदो के टिकट काटेगी.
बीजेपी को 2019 की चिंता
धीरे धीरे लोकसभा 2019 का चुनाव नजदीक आता जा रहा है वैसे-वैसे पार्टीयों की चिंता बढ़ती जा रही है. पार्टीयों ने लोकसभा चुनाव की तैयारी अपने -अपने ढंग से शुरु कर दी है. भारतीय जनता पार्टी ने कमजोर सांसदों के टिकट काट कर चुनाव की तैयारी शुरु की है. पिछले साल संसद में पीएम मोदी ने कुछ सांसदों के कार्य करने के तरीके पर नाराजगी जाहिर की थी जिसके बाद पार्टी आलाकमान ने इन कमजोर सांसदों के टिकट पर विकल्प तलाशने शुरु कर दिए है. सूत्रों के अनुसार इस बार नामी सांसदों के टिकट कटेंगे जिन्हें सुनकर चौंक जाएगे. इस बार भाजपा अपने कई बड़े नामों का टिकट काटने इ तैयारी में है.
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इनका कट सकता है टिकट :
उत्तर प्रदेश में दलित समाज के सबसे ज्यादा 17 सांसद भाजपा के पास हैं. ऐसे में दलित वर्ग को नाराज करने के मूड में भाजपा नहीं है. पिछले 4 सालों के कार्यकाल में कई भाजपा सांसदों ने पार्टी नेतृत्व को नाराज किया है. इसके बाद से भाजपा ने भी ऐसे नेताओं की छंटनी शुरू कर दी है. सहारनपुर सांसद द्वारा एसएसपी को धमकाना, बाराबंकी की सांसद का डीएम के खिलाफ प्रदर्शन करना और धौरहरा की सांसद का विधायक के साथ झगड़ा करना पार्टी को बिलकुल पसंद नहीं आया है. ऐसे सांसदों के टिकट काटना भाजपा में तय है.