इलाज कराने के बहाने ले जाकर लाखों की भूमि की कराई जबरन रजिस्ट्रीचचेरे भाई ने बुजुर्ग को घर से इलाज के लिए ले जाने के बहाने तहसील ले जाकर लाखों की भूमि की जबरन रजिस्ट्री करवा ली। इसके बाद बुजुर्ग की हत्या करके अंगूठे के निशान ब्लेड से खरोंचकर मिटा दिए। बुजुर्ग के नाक और मुंह से खून निकल रहा था फिर भी उसकी लाश को घर में ले जाकर फेंक दिया और कहा कि इनकी तबीयत खराब थी और मृत्यु हो गई। घटना की जानकारी पीड़ित ने पुलिस को दी। सूचना पाकर पुलिस मौके पर पहुंची और पीड़ित से दबाव बनाकर यह लिखवा लिया कि बॉडी का पोस्टमार्टम नहीं कराना चाहते जमीन वापस कर दी जाएगी। पीड़ित ने अनपढ़ होने के कारण पुलिस के दबाव में लिख दिया।
इसके बाद पुलिस ने गुपचुप तरीके से अंतिम संस्कार करा दिया। पुलिस घटना को दबा कर बैठ गई। यह मामला तब उजागर हुआ जब पीड़ित ने वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक लखनऊ को तहरीर देकर न्याय की बात कही। उधर हत्या के आरोपी घर से फरार है। इस संबंध में थाना प्रभारी इटौंजा शिव शंकर सिंह से बात की गई तो उन्होंने कहा मामला उनकी जानकारी में नहीं है। महिगवां चौकी इंचार्ज के जानकारी में मामला होगा मुझे इसकी जानकारी नहीं है। अगर पीड़ित ने तहरीर दी होती तो जांच के बाद आवश्यक कार्यवाही की जाती। हालांकि अब इस मामले में इटौंजा पुलिस की घनघोर लापरवाही उजागर हुई है। क्योंकि पीड़ित परिवार का आरोप है कि पुलिस ने दबंगों से पैसे लेकर मामले को रफा-दफा करने का प्रयास किया। हालांकि इस एसपी को दिए गए प्रार्थना पत्र के बाद मामला उजागर हो गया। अब देखने वाली बात होगी कि आरोपियों पर कार्रवाई के बाद क्या पीड़ित को न्याय मिल पायेगा ये देखने वाली बात होगी।
[penci_blockquote style=”style-1″ align=”none” author=””]मृतक का शरीर पड़ा था काला, मुंह से निकल रहा था खून[/penci_blockquote]
जानकारी के मुताबिक, घटना इटौंजा थाना क्षेत्र के नरोसा गांव की है। यहां के रहने वाले राम नाथ ने एसएसपी लखनऊ कलानिधि नैथानी को प्रार्थना पत्र देकर कहा है कि पीड़ित के पिता राममूर्ति (60) की 13 नवंबर को संदिग्ध परिस्थितियों में हत्या कर दी गई। पीड़ित काम पर गया था। पीड़ित के पिता को उनके चचेरे भाई गुड्डू निवासी ग्राम नरोसा व उनके अन्य साथी गणों ने नशीला पदार्थ खिलाकर बीकेटी तहसील ले गए। आरोप है कि यहाँ लाखों की जमीन पर गुड्डू ने रजिस्ट्री करवा ली और रास्ते में कहीं पर उनके पिता की हत्या करके लाश को ले आए और बोले की तबीयत खराब थी दिखाने ले गया था रास्ते में मृत्यु हो गई। जबकि पीड़िता का शरीर काला पड़ा था। अंगूठे ब्लेड (रेजर) से छिले हुए थे। नाक और मुंह से खून आ रहा था। जिस पर रुई हुई लगी हुई थी। जिससे मौके पर लिए गए फोटो भी उपलब्ध हैं।
[penci_blockquote style=”style-1″ align=”none” author=””]पुलिस पर दबाब बनाकर अंतिम संस्कार कराने का आरोप[/penci_blockquote]
पीड़ित ने घटना की सूचना दी। पुलिस आई और और पीड़ित पर दबाव बनाकर पोस्ट बिना पोस्टमार्टम कराए पिताजी की लाश का दाह संस्कार दूसरे दिन करा दिया और कहा कि जमीन वापस कर दी जाएगी। पीड़ित ने बताया कि वह गरीब और अनपढ़ व्यक्ति होने के कारण पुलिस के दबाव में कुछ बोल नहीं सका। आरोप है कि पुलिस ने लिखवाया कि पीड़ित ने बताया कि उसके पिता से जबरन रजिस्ट्री कराने के दौरानसरोज मौर्य पुत्र होली निवासी नरोसा इटौंजा, और रोहित निवासी लाहिलामऊ थाना महमूदाबाद जनपद सीतापुर ने गवाही दी है।
पीड़ित का आरोप है कि पुलिस ने उससे दबाव बनाकर लिखवा लिया कि “मैं राम नाथ पुत्र राम मूर्ति मैं इनका बेटा हूं, मैं अपने पिता की बॉडी का पोस्टमार्टम नहीं कराना चाहता घटनास्थल पर तय हुआ था जमीन वापस कर दी जाएगी।” पर अभी तक ना तो जमीन वापस हुई ना उसे न्याय मिल रहा है। आरोप है कि पुलिस ने कुछ सादे कागजों पर अंगूठा भी लगवा लिया था। 15 नवंबर को गांव वालों के साथ पीड़ित थाने गया। वहां पर थाने में मौजूद पुलिस कर्मियों ने आरोपियों ने पीड़ित और उसके साथ गए लोगों से कहा कि उपरोक्त जमीन वापसी का कागज पीड़ित को दे दिया जायेगा।आरोपियों ने निवेदन किया तथा तहसील में वापसी के बाबत शपथ पत्र निष्पादित कर दिया। अब गुड्डू जमीन वापसी का अभिलेख नहीं निष्पादित कर रहा है। पीड़ित का कहना है कि आरोपी घर से फरार है वह ना जमीन भी वापस नहीं कर रहा है। पुलिस भी आरोपी के पक्ष में उचित धाराओं में मुकदमा नहीं लिख रही है। इसलिए पीड़ित ने एसएसपी से न्याय की गुहार लगाई है।
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