उत्तर प्रदेश की योगी सरकार के निर्देशों के बावजूद अस्पतालों में लापरवाही से इलाज करने की घटना थमने का नाम नही ले रही है. ताज़ा मामला कानपुर के उर्सला अस्पताल का है जहाँ बुधवार 6 सितम्बर को सांस की बीमारी और बुखार के चलते 60 वर्षीय बुज़ुर्ग व्यक्ति की अस्पताल प्रशासन की लापरवाही के चलते दर्दनाक मौत हो गयी.
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2 घण्टे तक इधर उधर भटकाते रहे-
- कानपुर के उर्सला अस्पताल में आज अस्पताल प्रशासन की लापरवाही के चलते 60 वर्षीय बुज़ुर्ग की मौत हो गई.
- सांस की बीमारी और बुखार के चलते बुज़ुर्ग को इलाज के लिए अस्पताल लाया गया था.
- परिजनों ने डॉक्टर्स पर आरोप लगाते हुए कहा कि 2 घण्टे तक इधर उधर ये कह कर भटकाते रहे कि इस रूम में चले जाओ उस रूम में चले जाओ और एडमिट तक नही किया.
- इस दौरान बुज़ुर्ग की बीच मे ही मौत हो गयी.
- उर्सला के इमरजेंसी में परिजनों और डॉक्टर्स के बीच तू तू मैं मैं जारी है.
ये है पूरा मामला-
- श्याम नगर के रहने वाले थे 60 वर्षीय सुखदेव राम.
- उनके बेटे संजीत कुमार ने बताया कि सांस की बीमारी के चलते वह पिता सुखदेव राम को सुबह 10 बजे उर्सला अस्पताल ले कर आये थे.
- जहां ओपीडी में पहले उनका पर्चा बनवाया गया था.
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- इसके बाद उन्होंने कहा कि इन्हें 12 नंबर में दिखाइए.
- इसके बाद उन्हें 26 और 27 में नंबर कमरे में भेजा गया.
- काफी देर तक ऐसे ही मरीज़ को लिए टहलने के बाद कहा कि मरीज़ को 4 नंबर इमरजेंसी ले कर जाइये.
- जहां इमरजेंसी में मौजूद डॉक्टर्स ने मरीज़ को भर्ती तक नही किया और कहा कि वापस ले जाओ.
- जिसके बाद मरीज़ की मौत हो गयी.
इमरजेंसी डॉक्टर का कहना है कि मरीज़ को यहां लाया ही नही गया-
- अस्पताल में 2 घण्टे तक दौड़ा दौड़ा कर मरीज़ को इधर उधर घुमवाया गया.
- इस दौरान अस्पताल प्रशासन की लापरवाही के चलते आखिर सुखदेव ने बीच मे ही दम तोड़ दिया.
- यहां के इमरजेंसी के डॉक्टर नासिर ने बताया कि मरीज़ को यहां लाया ही नही गया.
- उन्होंने कहा कि यहां सीरियस पेशेंट को हम लोग पहले देखते हैं.
- जबकि मृतक मरीज़ के तीमारदार साफ कह रहे हैं कि हम यहां मरीज़ को ले कर आये हैं.
- लेकिन उन्होंने साफ भर्ती करने से इनकार कर दिया.
- ऐसा में फिर से एक बार अस्पताल प्रशासन सवालों के घेरे में है.
- वहीँ सीएमओ अशोक शुक्ल ने इस मामले में पीड़ित पक्ष को न्याय दिलाने का आश्वासन दिया है.
- साथ ही उन्होंने माले की जांच करने की बात कही है.
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