सूबे में आज से ऑनलाइन शापिंग महंगी हो रही है। ई-कामर्स के माध्यम से मंगायी जाने वाली वस्तुओं पर अब 5 प्रतिशत प्रवेश कर भी देना होगा। वाणिज्य कर विभाग ने ई-कामर्स को प्रवेश कर के दायरे में लाने के साथ ही उस पर पांच फीसद टैक्स वसूलने संबंधी बहुप्रतीक्षित अधिसूचना बुधवार को जारी कर दी।
- विधानसभा में प्रवेश कर संशोधन विधेयक-2016 पहेल ही पारित हो चुका है।
- अब राज्यपाल राम नाईक से हरी झंडी मिलने के बाद सरकार के इस फैसले पर मुहर लग गई है।
- इस संबंध में आज राज्य सरकार ने अधिसूचना भी जारी कर दी है।
- अब ऑनलाइन शापिंग के तहत प्रदेश के बाहर से मंगाए जाने वाले माल पर 5 प्रतिशत का टैक्स लगेगा।
- इसके बाद 22 सितंबर से मोबाइल सहित अन्य वस्तुएं महंगी हो जाएंगी।
- आपको इसके लिए व्यक्तिगत स्तर पर कोई टैक्स नहीं देना होगा।
- बल्कि मोबाइल कंपनिया ही वस्तुओं के दाम में टैक्स को जोड़कर नया दाम तय करेंगी।
- हालांकि जानकारों का कहना है कि 5 प्रतिशत वैट लगने के बावजूद ई-कार्मस पर सामान सस्ता ही मिलेगा।
प्रदेश में जल्द ही मंहगी हो जाएगी ऑनलाइन शापिंग
राज्य में हो रही 12 हजार करोड़ की ऑनलाइन शापिंगः
- फिलहाल, ई-कामर्स के जरिए दूसरे राज्यों से मंगाए जाने वाले सामान पर किसी तरह का टैक्स वसूलने का अधिकार राज्य सरकार के पास नहीं है।
- वाणिज्य कर अधिकारियों के मुताबिक, वर्तमान में राज्य में तकरीबन 12 हजार करोड़ रुपये की ऑनलाइन शापिंग हो रही है।
- जिसमें अगले चार सालों में चार गुना तक का इजाफा हो सकता है।
- मोबाइल से लेकर इलेक्ट्रानिक उपकरण, कपड़े आदि अपेक्षाकृत सस्ते होने से ई-कामर्स का इस्तेमाल दिन-प्रतिदिन बढ़ता जा रहा है।
- ऐसे में राज्य सरकार ने ई-कामर्स के माध्यम से मंगाए जाने वाले माल पर टैक्स वसूलने के लिए प्रवेश पर कर अधिनियम-2007 में संशोधन करने का फैसला किया है।
जल्दी करें ऑनलाइन शापिंग होने जा रही है महंगी!
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