उत्तर प्रदेश के वाराणसी में आये दिन हर जगह- जगह कई जगहों पर घण्टो जाम लगने से लोगो को परेशानियां भी झेलनी पड़ती है जिसे संज्ञान में लेते हुए ट्रैफिक पुलिस अब जाम की समस्या से निजात पाने के लिए ट्रैफिक पुलिस ने सिविल पुलिस की तर्ज पर ट्रैफिक फैंटम दस्ते को सड़क पर उतारा है। इन दस्तों को उतारने के साथ ही उम्मीद जताई जा रही है कि पीएम मोदी के संसदीय क्षेत्र वाराणसी में जनता को लगने वाले जाम की समस्या से कुछ हद तक तो निजात मिल ही जायेगी।
अत्याधुनिक सुविधाओं से होंगे लैस :
इन ट्रैफिक दस्तों को एडवांस कैमरा दिया गया है। ये कैमरे ट्रैफिक पुलिस की शर्ट पर लगे हुए हैं और सामने वाले की हर गतिविधि को ऑटोमैटिक रिकॉर्ड कर लेते हैं। शहर में 15 फैंटम दस्ते अलग-अलग इलाकों में ट्रैफिक व्यवस्था को दुरुस्त करने की कवायद में लगे हुए हैं।
ट्रैफिक पुलिस के मुताबिक, कैमरे में रिकॉर्ड गतिविधियों को सबूत के तौर पर पेश कर दोषियों के खिलाफ कार्रवाई में प्रयोग किया जाएगा। ट्रैफिक एसपी सुरेश चंद्र रावत के अनुसार, पब्लिक अक्सर ट्रैफिक पुलिस के साथ बदसलूकी करती है। सबूत के अभाव में उनके खिलाफ किसी तरह की कोई कार्रवाई नहीं हो पाती लेकिन अब अगर कोई इस तरह की हरकत करता है तो खास कैमरे में उसका चेहरा और उसकी सारी एक्टिविटी रिकॉर्ड हो जायेगी।
इसके पहले भी हुई थी कोशिश :
वाराणसी में इससे पहले भी ट्रैफिक पुलिस ने सड़कों पर टेंपरेरी डिवाइडर और चौराहों पर ट्रैफिक लाइट लगाकर ट्रैफिक की समस्या से निजात दिलाने की कोशिश की थी लेकिन लोगों की ट्रैफिक नियमों की अनदेखी के कारण यह कारगर साबित नहीं हुआ। कभी-कभी ट्रैफिक नियम तोड़ने पर हालात ऐसे हो जाते हैं कि लोग ट्रैफिक पुलिस के साथ ही उलझ पड़ते हैं और फिर नौबत हाथापाई तक पहुंच जाती है। इन सब बातों का ध्यान रखते हुए ट्रैफिक पुलिस ने फैंटम दस्ते को सड़क पर उतारा है।
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