इंटरनेट की दुनिया के शातिर लुटेरों पर मथुरा पुलिस ने कसा शिकंजा. शहर के जाने माने उद्यमी पवन चतुर्वेदी से की जालसाजी. दो लुटेरों को दबोचा व अन्य पांच आरोपी फरार.
[penci_blockquote style=”style-1″ align=”none” author=””]इन्टरनेट की दुनिया के शातिर चोर आये पुलिस की गिरफ्त में[/penci_blockquote]
गूगल के जरिये लूट की योजना को मूर्तिरूप देने में माहिर गिरोह पर मथुरा पुलिस ने शिकंजा कस दिया है। सर्विलांस टीम और थाना कोतवाली पुलिस को बड़ी सफलता मिली है।
बैंक में धोखाधड़ी कर पैसा निकालने वाले गैंग के दो शातिरों को पुलिस ने डैम्पीयर नगर स्थित भगत सिंह पार्क के गोल चक्कर से गिरफ्तार किया है।
जालसाजों को दबोचने के लिए पुलिस 15 दिन से जाल बिछा रही थी। पुलिस को जालसाजों के मथुरा में सक्रीय होने के इनपुट मिल रहे थे। गिरफ्तार किये गये अभियुक्तों में एक 15000 का इनामी बदमाश है।
गिरफ्तार किये गये अभियुक्तों ने बताया कि अन्य पांच साथियों की मदद से पवन चतुवेर्दी के खाते से तीन बार में 24 लाख 72 हजार रुपये आनलाइन अपने खाते में ट्रांसफर किये।
2 आरोपी गिरफ्तार, 5 अन्य फरार:
विजय कुमार पुत्र महीपाल सिहं निवासी उ-2/959 गली नम्बर 22 हर्ष विहार, नई-दिल्ली, मनोज उर्फ मोनू पुत्र सत्यपाल निवासी गाधी ग्यासी थाना कोतवाली, जिला बागपत को पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया हैं।
जबकि विनय कुमार उर्फ बबलू पुत्र राजू निवासी न्यू विकास नगर, लोनी, गाजियाबाद, अरुण पुत्र राजेन्द्र सिहं निवासी न्यू विकास नगर, गाजियाबाद, सहगल चाचा पुत्र अज्ञात निवासी बुराडी, दिल्ली, बबलू पुत्र दीपक पुत्र अज्ञात निवासी छलरैला नोयडा, गुरमीत पुत्र अज्ञात निवासी चंढीगड रोड, भोलापुर रघुनाथ इन्कलैव, लुधियाना, पंजाब फरार चल रहे हैं। जिनकी पुलिस को तलाश है।
इनके कब्जे से 2.40 लाख रुपये नगद, 4.5 रुपये की एक कार, 6 एटीएम कार्ड, 10 मोबाइल , दो वोटर कार्ड, दो आधार कार्ड, एक पैन कार्ड आदि बरामद किये हैं।
ऐसे बिछाया इंटरनेट से लूट का जाल:
शातिर चोरों ने अपने लूट की कहानी कुछ इस तरह बताई- “सर्वप्रथम गूगल से ‘car showroom in UP’ को सर्च कर उमा मोटर्स के पीएनटी नम्बर पर काल कर उनसे गाडी खरीदने सम्बन्धी जानकारी ली गयी। आनलाइन पैमेन्ट करेंगे ऐसा कह के उनसे उनका बैक खाता संख्या और आईएफसी कोड पूछ लिया।”
“इसके बाद गूगल से जस्ट डायल को सर्च कर सम्बन्धित बैंक का पीएनटी हासिल किया। उसके बाद इस पीएनटी नम्बर पर काँल कर बैंक मैनेजर का नम्बर लिया फिर हम लोगों ने एक फर्जी सिम से ट्रू-काँलर में पवन चतुवेर्दी उमा मोटर का नाम अपडेट कर बैंक मैनेजर को काँल कर अपना परिचय देकर हालचाल लिया।”
उसके बाद दिनाँक 1 जुलाई को बैंक मैनेजर को काँल कर कहा कि, “मैं दिल्ली में हूँ, मुझे एक अर्जेन्ट पैमेन्ट करनी है इसलिये आप मस्टर बबलू कुमार के खाते मे पैसे ट्रांसफर कर दें। चैक मैं बाद में तुमको उपलब्ध करा दुँगा।”
“बैंक मैनेजर ने लगभग 25 लाख रुपये के करीब तीन बार मे उसके द्वारा बताये गये व्यक्ति के खाते मे रुपये ट्रांसफर कर दिये । उसके बाद हमने अपने फर्जी खाते मे रुपयो को ट्राँसफर कर निकाला।”
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