लोगों की सुरक्षा के साथ यूपी पुलिस में टैलेंट भी कूट-कूट कर भरा हुआ है। इसकी एक बानगी झांसी जिले में तैनात एक सिपाही को देखने को मिला जहां एक सिपाही ने गाना गाकर ना सिर्फ वाहवाही लूटी बल्कि एक पुलिसकर्मी के जीवन में किन-किन परिस्थितियों से गुजरना पड़ता है बखूबी बताया है। जिसके बाद एक वीडियो सामने आया है। बता दें कि सिपाही झांसी के डीआईजी कार्यालय में तैनाती बताई जा रही है और ललितपुर में अटैच है।
शब्दों में है मार्मिकता
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मालूम हो कि झांसी में तैनात सिपाही जितेन्द्र यादव का वीडियो सामने आ रहा है, जिसमें पुलिस अपने दर्द भरे गीत के माध्यम से अधिकारियों को अपना दर्द सुना रहा है। वह अपने गीतों के माध्यम से 24 घण्टे की ड्यूटी का दर्द अपने अधिकारियों तक पहुंचा रहा है।
जिस मार्मिकता और सहजता के साथ गीतों के षब्दों में एक सिपाही का दर्द बयां कर रहा है उससे बरबस ही अंदाजा लगाया जा सकता है कि किन परिस्थितियों में रहकर एक सिपाही अपनी ड्यूटी निभाता है।
इस गाए गए गीत में सिपाही ने अपने परिवार के लोगों का भी दर्द बताया है कि जब पति ड्यूटी पर जाता है तो पत्नी किस प्रकार उसका इंतजार करती है। वहीं पिता के संबंध में भी अपने षब्दों में बयां किया है कि जब वह घर जाता तो बच्चे की किलकारी सुनकर भाव विभोर हो जाता है।
सिपाहियों की नहीं लेने वाला है कोई सुध
इस संबंध में जब जितेन्द्र यादव से बात की गई तो उनका कहना है कि आए दिन सिपाहियों के ऊपर कोई ना कोई परेशानी का सामना करना पड़ता है, लेकिन कोई उनकी सुध लेने वाला नहीं है। बताया कि कुछ समय पहले मऊ में एक सपाही को लाइन हाजिर कर दिया गया था जिससे क्षुब्ध होकर उसने ट्रेन से कटकर अपनी जान दे दी। जिसके बाद ना तो किसी विभागीय अधिकारी ने ही सुध ली ना ही किसी सरकार नुमांइंदे ने। बताया कि इन्हीं सब परेशानियों को देखते हुए यह गीत बनाया है।