सोचिये जब आधी रात में आप सुकून से नींद ले रहे हों और अचानक आपकी फ़ोन की घंटी बजे और दूसरी तरफ से ये बोला जाए कि आपको नौकरी से निकाल दिया गया है, आप कल से ऑफिस न आइयेगा, तो आप पर क्या बीतेगी। कुछ ऐसा ही हुआ निजी क्षेत्र में कार्यरत नार्वे की टेलीकॉम कंपनी टेलीनॉर के सैकड़ों अधिकारी और कर्मचारियों के साथ।

दरअसल एयरटेल कंपनी ने टेलीनॉर के साथ बदली प्रक्रिया हो जाने के बाद टेलीनॉर के 800 कर्मचारियों को नौकरी से निकाल दिया है। अचानक नौकरी जाने कर्मचारी सड़क पर आ गए हैं। बता दें कि टेलीनॉर कंपनी का अधिग्रहण करने वाली एयरटेल कंपनी ने बीते सोमवार को पूरी हुई विलय प्रक्रिया के बाद टेलीनॉर में कार्यरत देशभर के करीब 800 कर्मियों को बाहर का रास्ता दिखा दिया। जिससे नौकरी कर रहे कर्मचारी और अधिकारी सड़क पर आ गए।

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विभूति खंड दफ्तर के बाहर प्रदर्शन

एक झटके में नौकरी चले जाने से नाराज टेलीनॉर कर्मचारियों ने विभूति खंड गोमती नगर स्थित कंपनी के कार्यालय के बाहर घंटों विरोध प्रदर्शन किया। वहीं पीड़ित कर्मियों ने बाद में मुख्यमंत्री आवास पर पहुंचे एक ज्ञापन सौंपकर मदद की गुहार लगाई है। बता दें कि टेलीकॉम कंपनी टेलीनॉर से जुड़े पूर्वी उत्तर प्रदेश, पश्चिमी उत्तर प्रदेश, बिहार, गुजरात, बंगाल, महाराष्ट्र और आंध्र प्रदेश के 800 कर्मियों की नौकरी छीन ली है। काम करने वाले कर्मचारियों में कोई जोनल बिजनेस हेड है तो कोई एरिया सेल्स मैनेजर के महत्वपूर्ण पदों पर कार्यरत है।

विभूति खंड टेलीनॉर के क्षेत्रीय कार्यालय के कर्मचारियों में शामिल राजकिशोर और मनोज कुमार गुप्ता ने बताया कि पिछले साल फरवरी 2017 में टेलीनॉर कंपनी ने भारत में एयरटेल के साथ संचालित कारोबार की घोषणा की थी। उस समय कर्मचारियों को ये भरोसा दिलाया गया था कि आपकी नौकरी पूरी तरह से सुरक्षित है। इसके बावजूद वादाखिलाफी करते हुए कंपनी के विभिन्न प्रांतों में कार्यरत अधिकारियों व कर्मचारियों में से सिर्फ 40 फीसदी को ही समायोजित किया गया, वहीं बाकी को 3 माह का अग्रिम वेतन देकर नौकरी से निकालने का फैसला किया गया है।

यह भी लगे आरोप

कर्मियों ने बताया कि टेलीनॉर कंपनी के एयरटेल में विलय होने की प्रक्रिया बीते सोमवार को पूरी हुई। बधाई संदेश भेजने के कुछ घंटे बाद ही उन्हें 3 माह का वेतन देते हुए जबरन इस्तीफा देने का दबाव बनाया गया।

कैसे भरेंगे बच्चों का पेट

अचानक नौकरी चले जाने का दंश झेल रहे टेलीनॉर कंपनी में कार्यरत अफसरों व कर्मियों का कहना है कि अचानक नौकरी जाने से इस महंगाई के दौर में परिवार के भरण-पोषण के साथ बच्चों की पढ़ाई-लिखाई पर संकट खड़ा हो गया है।

क्या बोले एयरटेल के प्रवक्ता

वहीं एयरटेल के प्रवक्ता और सीनियर ऑफिसर यू श्रीनिवासन ने बताया कि एयरटेल कंपनी द्वारा विलय के बाद टेलीनॉर कंपनी के देशभर में कार्यरत 1500 में से 700 कर्मचारी और अधिकारियों को समायोजित कर अपना वादा पूरा किया। हर किसी को समायोजित करना संभव नहीं हो सकता। इसके बावजूद नौकरी खोने वाले टेलीनॉर कर्मियों के साथ सहानुभूति रखते हुए बकाया सभी तरह के वेतन व भत्ते के साथ चिकित्सा भत्ता देते हुए प्लेसमेंट दिलाने का प्रयास किया जाएगा।

तस्वीरों में देखिये कर्मचारियों का आक्रोश- मुख्यमंत्री आवास भी घेरा

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