2019 के लोकसभा चुनावों की सभी पार्टियों ने तैयारियां शुरू कर दी है। उत्तर प्रदेश में बनने वाला संभावित महागठबंधन बीजेपी के विजय रथ को रोकने के लिए पूरी ताकत से जुट गया है। विपक्ष की इस एकता का उदाहरण पिछले उपचुनावों में देखने को मिल चुका है जिसमें बीजेपी उम्मीदवारों की बुरी तरह हार हुई थी लेकिन बीजेपी भी अपनी पूरी तैयारी कर रही है और लोकसभा चुनावों में गठबंधन के खिलाफ पूरी ताकत से उतरेगी। इसका मुकाबला करने के लिये सपा और बसपा के गठबंधन से एक बाहुबली के बेटे को उतारने पर विचार हो रहा है।
विपक्षी दल हो रहे एकजुट :
2019 के लोकसभा में समाजवादी पार्टी, बहुजन समाज पार्टी, निषाद दल, पीस पार्टी, राष्ट्रीय लोकदल सहित तमाम छोटी-बड़ी पार्टियां एकजुट हो मैदान में आने को तैयार हो चुकी हैं। इस चुनाव में ये सभी दल बीजेपी हटाओ फॉर्मूले पर काम कर रहे है। इसके लिए इनका गठबंधन हर सीट पर ऐसे प्रत्याशी को उतारने की फिराक में है जो पूर्णतया जीत दिला सके। इसके लिए गठबंधन के बड़े नेता किसी भी दल के दमदार प्रत्याशी पर अपना दांव खेलने पर मंथन कर रहे हैं। इन गठबंधन दलों के नेताओं का मानना है कि इस बार गठबंधन दल किसी प्रत्याशी विशेष के लिए नहीं मिलकर कौन जीतने की स्थिति में है इस पर नजर रखे हुए है।
बाहुबली के बेटे को मिल सकता है मौका :
पूर्वांचल की राजनीति में दशकों से पूर्व मंत्री और बाहुबली हरिशंकर तिवारी के परिवार का दबदबा कायम है। उनका परिवार इस बार लोकसभा चुनाव में जोरदार तैयारी कर रहा है। पूर्व मंत्री हरिशंकर तिवारी के बड़े बेटे भीष्म शंकर तिवारी संतकबीरनगर लोकसभा क्षेत्र से सांसद रह चुके हैं। 2014 में वह हार गए थे लेकिन इस बार फिर वह पूरे जोश से लगे हुए हैं। पूर्व मंत्री के भांजे व पूर्व विधानपरिषद सभापति गणेश शंकर पांडेय महराजगंज लोकसभा क्षेत्र में लगे हुए हैं। सूत्रों के अनुसार, बसपा सुप्रीमों ने इन लोगों को चुनाव की तैयारियां करने को कह दिया है। हालांकि अभी साफ नहीं है कि गठबंधन के संयुक्त घोषणा में कहां से कौन प्रत्याशी होगा।