उत्तर प्रदेश में हाल में ही एम्बुलेंस सेवा (ambulance 108) 108 व 102 की सेवाओं को लेकर शिकायतें आ रही थीं. एम्बुलेंस ड्राइवर सर्विस देने से मना कर रहे थे जबकि कुछ ने ईंधन ना होने का भी बहाना बनाया था. इस प्रकार की लापरवाही सामने आने पर अब यूपी सरकार ने जरुरी दिशा निर्देश जारी किये हैं. इन दिशा-निर्देशों के सम्बन्ध में प्रमुख सचिव स्वास्थ्य प्रशांत त्रिवेदी ने जानकारी दी.
एम्बुलेंस सेवा के लिए जरुरी निर्देश:
- रोगियों को अटेंड करने के लिए न्यूनतम 03 अधिकारियों और कर्मियों की मौजूदगी अनिवार्य.
- अधिकारियों और कर्मचारियों की अधिकतम संख्या चिकित्सालय के आकार के अनुसार.
- एम्बुलेंस 102 एवं 108 से संबंधित पेशेण्ट केयर रिकार्ड एवं ड्राप बैक किए जाने वाले सभी लाभार्थियों के ड्राप बैक रिकार्ड के रख रखाव की व्यवस्था.
- एम्बुलेंस सेवाप्रदाता को लाभार्थियों के लिए एक यूनिक केस आई0डी एलाॅट करने के निर्देश.
- अभिलेखों में दर्ज सूचना वास्तविकता से भिन्न पाये जाने पर दोषी के विरूद्ध सख्त कार्रवाई करने का प्राविधान.
- एम्बुलेंस से चिकित्सालय लाये गये मरीज का केस आईडी नोट होगी.
- चिकित्सालयों में ओपीडी रजिस्ट्रेशन, इण्डोर तथा इमरजेंसी रजिस्टर में एम्बुलेंस सेवा के लिए एक कालम अतिरिक्त जोड़ा जाएगा.
- एम्बुलेंस द्वारा ड्रापबैक किए जाने वाले रोगियों की पुष्टि भी आवश्यक रूप से करानी अनिवार्य.
- रोगी तथा उनके परिजनों के पहचान पत्र के प्रकार एवं संख्या का अंकन सेवा प्रदाता द्वारा सुनिश्चित किया जाएगा.
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