सूबे की योगी सरकार भले ही हर क्षेत्र से भ्रष्टाचार मिटाने के लिए कृत संकल्प है तो वहीं (malihabad lucknow) भाजपा से जुड़े कार्यकर्ता और भाजपा समर्थित जनप्रतिनिधियों ने भ्रष्टाचार फैलाने की कसमें ही खा रखी हैं। उनसे भ्रष्टाचार करने का कोई मौका नहीं चूकता।
- कार्यकर्ताओं तथा पदाधिकारियों पर भ्रष्टाचार और धोखाधड़ी करके रूपये ऐठनें के एक ऐसे ही प्रकरण की शिकायत बीते तहसील दिवस में आयी थी।
- जिसपर अब तक कोई कार्रवाई न होने से पीड़ित अधिकारियों के चक्कर लगा रहा है।
- वहीं ठगी करने वाले लोग मौज मस्ती कर रहे हैं।
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क्या है पूरा मामला
- मलिहाबाद के तहसील क्षेत्र के कनार निवासी बाबूलाल गौतम ने बीते 17 मई को सम्पन्न तहसील दिवस में प्रार्थनापत्र दिया।
- उन्होंने भाजपा समर्थित वार्ड 11 से जिला पंचायत सदस्य संगीता मौर्या के पति एवं भारतीय किसान यूनियन टिकैट गुट के जिलाध्यक्ष कमलेश मौर्य पर एक जमीन के बैनामे के एवज में पचास हजार रूपये ठग लेने का आरोप लगाया।
- तहसील दिवस में दिये गये प्रार्थनापत्र के अनुसार बाबूलाल ने भूमि सं0 1568 रकबा 0.178 हे0 स्थित ग्राम नबीपनाह को परागी पुत्र फकीरे निवासी कल्याणमल तहसील सण्डीला जिला हरदोई से 21 लाख 60 हजार में खरीदना तय किया था।
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- जिसका 6 लाख रूपये बयाना विक्रेता के कहने पर सफीक पुत्र सुबराती निवासी लाल मस्जिद बालागंज चुंगी लखनऊ को दे दिये थे।
- जिसकी जमानत नबीपनाह निवासी लल्लन और मधवापुर निवासी अनन्त ने ली थी।
- क्योंकि इस भूमि की बिक्री उपरोक्त दोनों ने ही तय करवायी थी।
- बावजूद इसके कुछ दिन बाद उसे ज्ञात हुआ कि जमीन किसी दूसरे व्यक्ति को बेंच दी गयी है।
- इस पर मध्यस्थ बने लल्लन व अनन्त ने जमीन मालिक से बात करके बयाने की राशि की वापसी तय करायी और साढ़े पांच लाख रूपये बाबूलाल को वापस करा दिये।
- बकाया 50 हजार रूपये जल्द दिलाने का भरोसा दिलाया परन्तु रूपये वापस नहीं मिले।
- तब लम्बे समय से टाल मटोल से परेशान बाबूलाल ने मधवापुर निवासी अपने साढू सुरेश से सलाह ली।
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- तो सुरेश उसे अमानीगंज निवासी जय कुमार उर्फ जेके के पास ले गये।
- जेके ने कहा कि जगदीपुर निवासी कमलेश मौर्य किसान यूनियन के बड़े नेता हैं वे उक्त जमीन का बैनामा तुम्हारे नाम ही करा देंगे।
- क्योंकि पहले बयाना तुमने ही दिया था, फिर जेके ने बाबूलाल की कमलेश मौर्य से मुलाकात करायी।
- मुलाकात में कमलेश मौर्य ने कहा कि उक्त जमीन का बैनामा तुम्हारे नाम हो जायेगा इसके एवज में तुम्हें एक लाख रूपये मुझे देना होगा और जिसमें पचास हजार रूपये मुझे पहले चाहिए।
- बाकी पचास हजार रूपये बैनामा होने के बाद देने होंगे।
- बाबूलाल ने सबके सामने कमलेश को पचास हजार रूपये दे दिये।
- फिर कमलेश मौर्य पीड़ित को मलिहाबाद से माल तक एक सप्ताह तक टहलाते रहे।
- परन्तु कोई कार्यवाई नहीं करवा पाये।
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- परेशान होकर बाबूलाल ने मलिहाबाद स्थित रजिस्टार ऑफिस में पता किया।
- तो मालूम हुआ कि उक्त जमीन का बैनामा हो चुका है।
- तब बाबूलाल ने कमलेश मौर्य से पचास हजार रूपये मांगे तो कमलेश ने कहा कि वो रूपये तो तुम्हारे काम के लिए हमने खर्च कर दिये हैं।
- हमारी तुमसे एक लाख रूपये में बात तय हुई थी तुम मुझे पचास हजार रूपये और दो।
- ठगी का एहसास होने पर बाबूलाल ने तहसील दिवस में कमलेश मौर्य एवं जयकुमार उर्फ जेके द्वारा एकराय होकर धोखाधड़ी करके पचास हजार रूपये ठगने का मुकदमा लिखे जाने व पैसा वापस दिलाये जाने के लिए गुहार लगायी।
- परन्तु अब तक (malihabad lucknow) कोई कार्रवाई न होने से पीड़ित थाने व तहसील के चक्कर काट रहा है।
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