राजधानी के माड़ियांव इलाके के प्रीतिनगर में रहने वाली एक विवाहिता ने दो पेज का सुसाइड नोट लिखकर खुदकुशी कर ली।
- पुलिस ने घटनास्थल से दो पेज का एक सुसाइड नोट बरामद किया।
- इसमें विवाहिता ने अपनी मौत का जिम्मेदार अपने प्रेमी को ठहराया।
- सुसाइड नोट में मृतका ने अपना दर्द बयान किया।
- इसी आधार पर पुलिस ने केस दर्ज कर मामले की पड़ताल शुरू की।
- यौन शोषण कर उसे आत्महत्या के लिए मजबूर करने वाले आरोपी सिद्धार्थ नगर निवासी महेंद्र चौधरी को माड़ियांव पुलिस ने केशव नगर मोड़ से गिरफ्तार कर लिया।
यह है पूरा घटनाक्रम
- बता दें कि होली की सुबह माड़ियांव पुलिस को सूचना मिली की प्रीतिनगर इलाके में एक 32 वर्षीय महिला ने आत्महत्या कर ली।
- इस सूचना पर चौकी इंचार्ज केशवनगर संतोष तिवारी पहुंचे।
- चौकी इंचार्ज ने बताया था कि प्रीति नगर निवासी व पेशे से प्लंबर आयूष (काल्पनिक नाम) के तीन बच्चे हैं।
- सिदार्थ नगर निवासी महेंद्र चौधरी केशवनगर में रहकर उसके बच्चों को ट्यूशन पढ़ाता था।
- तभी उसकी पत्नी और महेंद्र के बीच प्रेम प्रसंग हो गया।
- बीते 9 नवंबर 2016 को महेंद्र बहला फुसलाकर कंचन को अपने साथ सिद्धार्थ नगर भगा ले गया था।
- वहीं बीते 11 मार्च को आरोपित ने महिला को पति के सुपुर्द कर दिया।
- जिंदगी से हताश महिला ने सोमवार रात घर में फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली थी।
- सुबह फांसी के फंदे से लटकता देख पति ने पुलिस को सूचना दी थी।
नौ वर्षों तक किया था शोषण फिर दे दिया धोखा
- मृतका ने डेढ़ पेज के सुसाइड नोट में लिखा है कि महेंद्र चौधरी ने उसकी मांग में सिंदूर भरकर पत्नी का दर्जा दिया।
- सिद्धार्थ नगर में एक किराए के कमरे में रखकर उसका यौन शोषण शुरू कर दिया।
- जब उसने समाज के सामने अपनाने को कहा तो वह तो टाल मटोल करता रहा।
- कुछ दिनों बाद उसे पता चला कि उसका एक और महिला से अफेयर है।
- जिसका विरोध करने पर आरोप है कि आरोपित प्रेमिका के साथ मिलकर उसे धमकाने लगा।
- इतना ही नहीं मृतका ने आरोपित के परिजनों पर भी उसे पीटने व धमकाने का आरोप लगाया था। मृतका ने यह भी लिखा था कि कई बार महेंद्र उसकी पिटाई कर जबरन दुष्कर्म करता था।
- मृतका के सुसाइड नोट में लिखा था कि उसके मना करने पर महेंद्र यह कहता था कि जल्द ही वह शिक्षक बन जायेगा और उसे नौकरी मिल जायेगी।
- उसके बाद वह सामाजिक रूप से उससे शादी करेगा और जीवन भर खुशियां मिलेंगी।
- वहीं मृतका ने उसे कई बार शारीरिक संबंध बनाने से रोकती थी तो वह झूठे प्यार का दिखावा कर शारीरिक संबंध स्थापित कर लेता था।
मातम में बदली थी घर की खुशियां
- होली की सुबह कंचन के तीनों बच्चे रंग खेलने की तैयारी कर रहे थे।
- तभी बड़ा बेटा मां कंचन के पास रंग के लये पैसे मांगने गया लेकिन कमरे का नजारा देख उसकी चीख निकल गई।
- होली के दिन ही परिवार में मातम छा गया था।
- सुसाइड नोट की अंतिम पंक्ति में कंचन ने लिखा है कि मुझे इंसाफ चाहिए ताकि फिर कोई शादी शुदा महिला की मांग में सिंदूर भरकर उसका शोषण न कर सके।
- ताकि फिर किसी महिला के बच्चो की जिंदगी ना बर्बाद हो और ना ही कोई महिला हवस का शिकार बने।
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