पिछली मायावती सरकार से अखिलेश सरकार में महिला अपराधों में दो गुनी बढ़ोत्तरी हुई है। यह हम नहीं बल्कि एक आरटीआई एक्टिविस्ट द्वारा उप्र राज्य महिला आयोग से मांगी गई सूचना में खुलासा हुआ है।
यह हैं चौंकाने वाले आंकड़े
- दरअसल समाजसेविका उर्वशी शर्मा ने पिछले साल अक्टूबर महीने में उत्तर प्रदेश राज्य सूचना आयोग में एक आरटीआई दायर कर जानना चाहा था।
- कि अखिलेश यादव की सरकार और अखिलेश की पूर्ववर्ती मायावती सरकार के कार्यकाल में महिला उत्पीड़न की कुल कितनी-कितनी शिकायतें दर्ज कीं गईं।
- इस सम्बन्ध में उर्वशी को जो सूचना दी गई है उसके अनुसार मायावती के 60 माह के कार्यकाल में महिला आयोग में 81,776 शिकायतें दर्ज हुईं जबकि अखिलेश यादव के आरंभिक 54 माह के कार्यकाल में ये शिकायतें बढ़कर 1,46,652 हो गईं।
- अखिलेश सरकार में दो गुने हुए महिला अपराध के आंकड़े
- सामाजिक कार्यकर्ता का कहना है कि यह आंकड़े बता रहे हैं कि अखिलेश यादव के कार्यकाल में यूपी में महिला उत्पीड़न के मामले पूर्ववर्ती मायावती के कार्यकाल के मुकाबले दोगुने हो गये हैं।
- बकौल उर्वशी कोई महिला पुलिस, प्रशासन से निराश होने पर ही अपनी शिकायत लेकर महिला आयोग का दरवाजा खटखटाती है।
- इसीलिये महिला उत्पीड़न के ये लगातार बढ़ते हुए आंकड़े यूपी के पुलिस,
- प्रशासन की महिला अपराधों के प्रति असंवेदनशीलता और यूपी में महिलाओं की असुरक्षा के बड़े सबाल को भी सामने लेकर आ रहे हैं।