उत्तर प्रदेश के मुख्यमंंत्री अखिलेश अपनी युवा सोच की वजह से देशभर में पहचाने जाते है। वो खुद भी युुवा है इसलिए युवाओं को किस तरह आगे बढ़ाना है, इस बात को वो बखूूबी जानतेे है। अपने कार्यकाल के दौरान उन्होने सबसे ज्यादा ध्यान युवाओं पर ही दिया है। लैपटॉप वितरण जैैसी तमाम योजनाओं ने उत्तर प्रदेश के युवाओं को काफी फायदा पहुॅचाया है।
गौरतलब है कि उत्तर प्रदेश में 2017 में विधानसभा चुनाव होने वाले है। इस विधानसभा चुनाव में समाजवादी पार्टी को एक बार फिर जनता की अदालत में आकर उनके जनमत को जीतना है। सपा सरकार उत्तर प्रदेश की जनता की उम्मीदों पर कितना खरा उतरी है इसका जबाव तो 2017 में पता चल पायेगा लेकिन इतनी बात आसानी से कही जा सकती है कि अपने कार्यकाल के दौरान अखिेलश यादव ने व्यक्तिगत तौर पर युवाओं के बीच अपनी खास पहचान बना ली है।
युवाओं के बीच बढ़ती लोकप्रियता को वोट में बदलने के लिए अखिलेश सरकार अपनी पार्टी के युवा नेताओं को 2017 में होने वाले विधानसभा चुनावों में चुनाव लड़़ने का मौका देने वाली है। सपा सरकार की योजना 2017 के विधानसभा चुनावों में उन नेताओं को मौका देने की है जिनकी उम्र 45 से कम है।
एेेसा माना जा रहा है कि अखिेलश यादव उन युवा नेताओं को वरीयता देगे जिनका राजनैतिक कैरियर पूरी तरह बेदाग हो। ज्ञात हो कि सपा सरकार ने 2012 में हुए विधानसभा चुनावों को भी युवाओं के भरोसे ही जीता था।
अापको बताते चले कि समाजवादी पार्टी के साथ लोहिया वाहिनी, मुलायम यूथ बिग्रेड, समाजवादी युवाजन सभा व समाजवादी छात्र सभा जैसे युवा सगंठन जुड़े हुुए है। अखिलेश यादव अपने युवा विधानसभा उम्मीदवारों का चुनाव अपने इन्ही सगंठनों में से करने की कोशिश करेंगे। अखिलेश यादव की युवा टीम आने वाले विधानसभा चुनावों में कितनी कामयाब होने वाली है ये तो आने वाले वक्त में ही पता चल पायेगा।