आज 68वें गणतन्त्र दिवस के मौके पर शहीद हवलदार हंगपन दादा को मरणोपरांत अशोक चक्र से नवाज़ा गया. हवलदार हंगपन दादा ने जम्मू-कश्मीर में हुई मुठभेड़ में चार आतंकियों को ढेर किया था.राष्ट्रपति प्रणब मुख़र्जी ने उनकी पत्नी चासेन लोवांग दादा को ये अवार्ड दिया.
27 मई नॉर्थ कश्मीर के कुपवाड़ा में घुसपैठ की कोशिश
- 27 मई 2016 को नॉर्थ कश्मीर के कुपवाड़ा में घुसपैठ की कोशिश हुई थी.
- नॉर्थ कश्मीर के कुपवाड़ा 12500 फीट की उंचाई पर ये घटना घटी थी.
- 36 साल के हवलदार हंगपन दादा ने इस घुसपैठ को रोकने के लिए.
- बहादुरी से सामना किया था.दादा ने चार आतंकियों से लोहा लेकर.
- उन्हें ढेर कर दिया.इस हमले में दादा बुरी तरह ज़ख़्मी हो गए थे.
अपने गाँव में हवलदार हंगपन दादा के नाम से मशहूर
- साल 1977 में आर्मी की असम रेजीमेंट में शामिल हुए थे दादा.
- कुछ समय बाद दादा ने 35 राष्ट्रीय राइफल्स में तैनाती प्राप्त की.
- अरणाचल प्रदेश के बोदुरिया गांव के रहने वाले थे हवलदार हंगपन दादा.
- असम रेजीमेंटल सेंटर का एक ब्लाक इस वीर जवान के नाम पर रखा गया है.
- भारत की रक्षा में शहीद इस जवान को भारत शत शत नमन करता है.
- सीमा पर तैनात जवानों की मुस्तैदी आज हमें राज्य में
- शान्ति और अमन का महौल देती है.