प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भारत को स्वच्छ बनाने के लिए देश भर में स्वच्छ भारत अभियान की शुरुआत की थी. पीएम के इस अभियान को देश भर में ना केवल सराहा गया बल्कि अपनाया भी गया. लेकिन भारत को स्वच्छ बनाने की ये मुहीम अब कितनी कारगर साबित हो रही है इस बात का खुलासा कानपुर की इस ख़ास रिपोर्ट से होने जा रहा है. जिसमे जिम्मेदार अधिकारियों ने खुद स्वीकार किया है कि बरसात में सड़ने वाले कूड़े को उठाने का काम नगर निगम नहीं कर पा रहा है. जिससे भयंकर महामारी फैलने के खतरे हो सकते है.
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कूड़ा न उठाने से फ़ैल सकती है महामारी-
- “दिल का देखो चेहरा न देखो इस चेहरे ने लाखो को लूटा दिल सच्चा और चेहरा झूठा ” इस गाने के शब्दों को कानपुर की जनता के लिए अधिकारियों ने फिट किया है.
- जिसमें जनता से शहर को स्मार्ट सिटी बनाने के लिए तमाम बाते कही गई.
- लेकिन ये सभी बाते झूठ का पुलिंदा साबित हुई.
- यूपी की औद्योगिक राजधानी कानपुर जो कि अब स्मार्ट सिटी की होड़ में शामिल है.
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- लेकिन स्मार्ट सिटी की होड़ में शामिल कानपुर में बरसात के बाद बजबजाते कूड़े के ढेर शहर में महामारी को दावत दे रहे है.
- यही नही शहर की जनता इन कूड़े के ढेर से उठने वाली बदबू और निकलने वाले कीड़ो से त्रस्त है.
- शहरवासियों ने बताया कि नगर निगम के अधिकारियों के बड़े बड़े दावे नाकाम साबित हो रहे है.
- हालत अब ये है कि पूरा शहर कूड़े का ढेर बन चुका है.
सड़ने वाला कूड़ा जनमानस के लिए बेहद खतरनाक-
- इस मामले को लेकर कानपुर शहर के प्रतिष्ठित डॉक्टर हेमन्त मोहन से भी बात की गई.
- उन्होंने बताया कि बरसात में सड़ने वाला कूड़ा आम जनमानस के लिए बेहद खतरनाक होता है.
- बरसाती कूड़े से चर्मरोग ,सांस की बीमारी ,वायरल फीवर ,फेफड़ो में इंफेक्शन ,स्वाइन फ़्लू और इंसेफ्लाइटिस तक हो सकता है.
- डॉक्टर मोहन ने ये भी बताया कि नगर निगम अगर जल्द न चेता और कूड़े का उठान नहीं हुआ तो शहर में महामारी फैलने का ख़तरा है.
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अधिकारी भी मान रहे नहीं हो पा रहा सड़ रहे कूड़े का उठान-
- कानपुर को स्मार्ट सिटी बनाने का बीड़ा उठाए नगर निगम के जिम्मेदार अधिकारी भी मान रहे है कि बरसात बाद सड़ रहे कूड़े का उठान नहीं हो पा रहा है.
- लेकिन इसके बाद भी अधिकारी अपनी कमिया छुपाने के लिए गोलमोल जवाब तो दे रहे है.
- ऐसे में इनकी कमियों से शहर की जनता हलकान हो रही है.
- जिम्मेदार अधिकारियों के रवैये से महामारी के मुहाने पर खड़ा है कानपुर शहर.
- जो अपनी बेबसी पर सिर्फ आंसू बहा सकता है.